उत्तर प्रदेश में पिछले वर्ष की तुलना में सड़क दुर्घटना में 5.5 प्रतिशत व दुर्घटना के मृतकों की संख्या में 4.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। सड़क दुर्घटना में दोपहिया वाहन चालकों की मृत्यु अधिक हुई है। यह स्थिति काफी चिंताजनक है। राज्य सरकार का विशेष ध्यान है कि मार्ग दुर्घटनाओं में कमी आए और लोग जागरूक हों। इसी क्रम में योगी सरकार 17 से 31 जुलाई तक सड़क सुरक्षा पखवाड़ा चलाएगी।
मार्ग दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए सरकार ने अब सख्त रवैया अपनाया है। इसके तहत विभागों में दूसरी बार बिना हेलमेट कार्यालय आने वाले कर्मचारियों का प्रवेश निषिद्ध मानते हुए उन्हें अनुपस्थित माना जाएगा। इस पखवाड़े के तहत जिला सड़क सुरक्षा समिति की बैठक भी आयोजित होगी। इसमें जनपदीय रोड सेफ्टी एक्शन प्लान तैयार कराकर पखवाड़े के अंत तक परिवहन आयुक्त को प्रेषित की जाएगी।
सड़क सुरक्षा पखवाड़ा मनाने के लिए 15 दिन की कार्ययोजना तैयार कर ली गई है। प्रस्तावित कार्यक्रम के अनुसार उद्घाटन समारोह में सांसद, विधायक आदि जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित किया जाएगा। वहीं संबंधित विभागों के अफसरों को भी सम्मिलित किया जाएगा। परिवहन से जुड़े बस, ट्रक, ऑटो यूनियन, एनजीओ के पदाधिकारियों को बुलाया जाएगा और उनसे भी राय ली जाएगी। वहीं, स्कूलों में भी प्रार्थना के उपरांत छात्रों को सड़क सुरक्षा की जानकारी देते हुए नियमों के पालन की शपथ दिलाई जाएगी।
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यातायात नियमों की अवहेलना करने वाले कर्मचारियों पर सरकार काफी सख्त है। निर्देश दिया गया है कि समस्त विभागों के कार्यालय परिसर में बिना हेलमेट लगाए आने वाले समस्त कार्मिकों को सार्वजनिक रूप से सचेत किया जाएगा। कार्यालय परिसर में चेतावनी सूचक बोर्ड लगाया जाएगा। भविष्य में दो पहिया वाहन पर बिना हेलमेट लगाए कार्मिकों का प्रवेश निषिद्ध करते हुए उन्हें अनुपस्थित माना जाएगा। पब्लिक एड्रेस सिस्टम के माध्यम से सड़क सुरक्षा का प्रचार-प्रसार सुनिश्चित किया जाएगा।
सड़क सुरक्षा पखवाड़े के तहत अनेक आयोजन किए जाएंगे। इस अवधि में सेव लाइफ फाउंडेशन के सहयोग से सभी 75 जनपदों में चालकों को सुरक्षित ड्राइविंग व फर्स्ट रेसपांडर का प्रशिक्षण दिया जाएगा। चिकित्सा शिक्षा विभाग की तरफ से मेडिकल कॉलेज के सर्जरी व हड्डी रोग विभाग की तरफ से मेडिकल व पैरामेडिकल छात्रों के लिए बेसिक व एडवांस लाइफ सपोर्ट से संबंधित कार्यशाला आयोजित की जाएगी।
उत्कृष्ट कार्य करने वाले ट्रैफिक पुलिस कर्मियों को सम्मानित किया जाएगा। परिवहन विभाग के सहयोग से स्कूली वाहनों के चालकों की आंखों व स्वास्थ्य का भी परीक्षण होगा। प्रोजेक्ट मैनेजमेंट कंसल्टेंसी के माध्यम से बेसिक, माध्यमिक व उच्च शिक्षकों को ऑनलाइन प्रशिक्षण कराया जाएगा। स्कूलों में रंगोली व पोस्टर प्रतियोगिता के जरिए जागरूक किया जाएगा। इसके अलावा भी कई कार्यक्रम होंगे।
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