पीएम मोदी ने सीएम धामी से ली बारिश से तबाही की जानकारी, सहयोग का दिया भरोसा

प्रधानमंत्री ने जान-माल की क्षति, सड़कों की स्थिति सहित चार धाम यात्रा,कृषि,किसान और फसलों की स्थिति और कांवड़ यात्रा के संचालन के बारे में जानकारी प्राप्त की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने भारी बारिश से विभिन्न स्थानों पर हुए जन धन की हानि और बाधित सड़कों के साथ ही चार धाम यात्रा और कांवड़ यात्रा के बारे में प्रधानमंत्री को विस्तार से जानकारी दी।

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से दूरभाष पर बात कर उत्तराखंड में भारी बारिश आदि की स्थिति के बारे में जानकारी ली। उन्हें केन्द्र से सहयोग का भरोसा दिया। मुख्यमंत्री धामी ने ट्वीट कर यह जानकारी दी।
प्रधानमंत्री ने जान-माल की क्षति, सड़कों की स्थिति सहित चार धाम यात्रा, कृषि, किसान और फसलों की स्थिति और कांवड़ यात्रा के संचालन के बारे में जानकारी प्राप्त की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने भारी बारिश से विभिन्न स्थानों पर हुए जन धन की हानि और बाधित सड़कों के साथ ही चार धाम यात्रा और कांवड़ यात्रा के बारे में प्रधानमंत्री को विस्तार से जानकारी दी।

मुख्यमंत्री ने किसानों और फसलों की स्थिति की जानकारी देते हुए कहा कि शासन, एसडीआरएफ, पुलिस और प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट मोड पर काम कर रहे हैं। राज्य भर में जगह-जगह जेसीबी मशीनें तैनात की गई है ताकि बाधित सड़कों को तुरंत खोला जा सके। उच्च स्तर से लगातार मॉनिटरिंग की जा रही है। प्रधानमंत्री ने केन्द्र से पूरे सहयोग के प्रति मुख्यमंत्री को आश्वस्त किया। बारिश-बर्फबारी के बीच लाहौल स्पीति और कुल्लू जिलों में फंसे पर्यटकों का सरकार हेलिकॉप्टर से रेस्क्यू करेगी।

चार हजार करोड़ का नुकसान
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा है कि इस प्राकृतिक आपदा के कारण 17 लोगों की मृत्यु हो गई है और राज्य के विभिन्न हिस्सों में सड़कों, बिजली के ट्रांसफार्मरों व विद्युत उप-केंद्रों और जल आपूर्ति परियोजनाओं को भारी नुकसान पहुंचा है। इस आपदा के कारण लोगों का जनजीवन व्यापक रूप से प्रभावित हुआ है। प्रारम्भिक अनुमान के अनुसार प्रदेश को लगभग 3000 करोड़ से 4000 करोड़ रुपये तक का नुकसान आंका गया है। मुख्यमंत्री ने यह जानकारी सोमवार को हमीरपुर के नादौन में राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की वर्चुअल बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी। इस अवसर पर उन्होंने राज्य में भारी बारिश और भूस्खलन से हुए नुकसान की समीक्षा की और सभी संबंधित प्राधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री ने लगातार बारिश से हुए नुकसान का सटीक आकलन करने के लिए राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी की अध्यक्षता में समिति की बैठक बुलाने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने सभी उपायुक्तों को आगामी 10 दिनों तक सतर्क रहने और प्रभावित लोगों को हरसंभव सहायता प्रदान करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने प्रभावित क्षेत्रों में बिजली और पानी की आपूर्ति तत्काल बहाल करने के निर्देश दिए ताकि लोगों को दैनिक जीवन में किसी भी असुविधा का सामना न करना पड़े। उन्होंने विभिन्न जगहों पर फंसे हुए लोगों की सुविधा के लिए क्षतिग्रस्त पुलों के स्थान पर बेली ब्रिज के निर्माण के भी निर्देश दिए।

सेब उत्पादकों को नुकसान से बचाने के उपाय
मुख्यमंत्री ने सेब सीजन के दृष्टिगत इन उत्पादक क्षेत्रों में सड़कों की शीघ्र बहाली पर बल दिया ताकि सेब फसलों का सुचारू परिवहन सुनिश्चित कर, सेब उत्पादकों को नुकसान से बचाया जा सके। उन्होंने परवाणु-रोहड़ू, ठियोग से रामपुर, छैला से कुमारहट्टी सड़कों और अन्य सेब उत्पादन क्षेत्रों की सड़कों को खुला रखने और मलबा हटाने के लिए अतिरिक्त मशीनरी तैनात करने के निर्देश दिए। उन्होंने इन क्षेत्रों में तत्काल सड़क सुधार के लिए 4 करोड़ रुपए आवंटित किए। उन्होंने कहा कि श्रीखंड महादेव यात्रा के दौरान छह मौतों की सूचना के बाद इस यात्रा को शेष सीजन के लिए रोकने के निर्देश दिए गए हैं।

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