नागपुर में चौराहे के सिग्नल पर हुई हत्या ने सुरक्षा की धज्जियां उड़ा दी। इसके बावजूद पुलिस नहीं जागी। रविवार को हत्या में मृत शख्स की अंतिम यात्रा में हजारो लोग सम्मिलित हुए। इतनी बड़ी संख्या में एकत्रित होना, बगैर मास्क लगाए पुलिस की देखरेख में कोरोना दिशा निर्देशों की भी अर्थी उठ गई।
नागपुर के शांति नगर इलाके की सड़क दोनों तरफ खचाखच भरी थी। बड़ी संख्या में पुलिस बल मौजूद था। न कोई सोशल डिस्टेसिंग और न तो वहां मौजूद अधिकतर लोग मास्क लगाए हुए थे। लेकिन पुलिस मूक दर्शक बनकर खड़ी हुई थी। इस बीच ताशा बजाते हुए एक भीड़ गली से निकलती है। देखते ही देखते भीड़ हजारों की संख्या में पहुंच गई। ये दरअसल यहां रहनेवाले किशोर उर्फ बाल्या बिनेकर की अंतिम यात्रा थी। जिनकी सरेराह हथौड़े और चाकू से गोदकर हत्या हो गई थी। दरअसल शनिवार को बाल्या बिनेकर कहीं जा रहे थे उस दौरान बोले पेट्रोल पंप चौक के सिग्नल पर उसे अज्ञात लोगों ने घेर लिया। उसे कार से खींचकर सड़क पर गिरा दिया। और हथौड़े व चाकू से घोंपकर उसकी हत्या कर दी। इस पूरी घटना की रिकॉर्डिंग सीसीटीवी में कैद हो गई। यह सूबे के गृहमंत्री का क्षेत्र हैं। लेकिन चौराहे पर कत्ल कर दिया जाता है न सड़क पर जनता थमती है और न ही पुलिस सुरक्षा कहीं दिखती है। रविवार को बाल्या की अंतिम यात्रा निकली जिसमें बड़ी संख्या में क्षेत्र के लोग कोरोना दिशा निर्देशों का धड़ल्ले से उल्लंघन करते हुए निकले। बाल्या पेशे से बिल़्डर था लेकिन उसका मुख्य धंधा मटका चलाना था। इस हत्या के बारे में खबर है कि बाल्या ने 2001 में एक शख्स की हत्या कर दी थी जिसका बदला लेने के लिए ये घटना हुई है। बहरहाल जिस तरीके से हत्या हुई वो डरानेवाला है राज्य की दूसरी राजधानी में सरेराह हत्या हो गई और पुलिस को भनक तक नहीं लगी।
नागपुर के शांति नगर इलाके की सड़क दोनों तरफ खचाखच भरी थी। बड़ी संख्या में पुलिस बल मौजूद था। न कोई सोशल डिस्टेसिंग और न तो वहां मौजूद अधिकतर लोग मास्क लगाए हुए थे। लेकिन पुलिस मूक दर्शक बनकर खड़ी हुई थी। इस बीच ताशा बजाते हुए एक भीड़ गली से निकलती है। देखते ही देखते भीड़ हजारों की संख्या में पहुंच गई। ये दरअसल यहां रहनेवाले किशोर उर्फ बाल्या बिनेकर की अंतिम यात्रा थी। जिनकी सरेराह हथौड़े और चाकू से गोदकर हत्या हो गई थी। दरअसल शनिवार को बाल्या बिनेकर कहीं जा रहे थे उस दौरान बोले पेट्रोल पंप चौक के सिग्नल पर उसे अज्ञात लोगों ने घेर लिया। उसे कार से खींचकर सड़क पर गिरा दिया। और हथौड़े व चाकू से घोंपकर उसकी हत्या कर दी। इस पूरी घटना की रिकॉर्डिंग सीसीटीवी में कैद हो गई। यह सूबे के गृहमंत्री का क्षेत्र हैं। लेकिन चौराहे पर कत्ल कर दिया जाता है न सड़क पर जनता थमती है और न ही पुलिस सुरक्षा कहीं दिखती है। रविवार को बाल्या की अंतिम यात्रा निकली जिसमें बड़ी संख्या में क्षेत्र के लोग कोरोना दिशा निर्देशों का धड़ल्ले से उल्लंघन करते हुए निकले। बाल्या पेशे से बिल़्डर था लेकिन उसका मुख्य धंधा मटका चलाना था। इस हत्या के बारे में खबर है कि बाल्या ने 2001 में एक शख्स की हत्या कर दी थी जिसका बदला लेने के लिए ये घटना हुई है। बहरहाल जिस तरीके से हत्या हुई वो डरानेवाला है राज्य की दूसरी राजधानी में सरेराह हत्या हो गई और पुलिस को भनक तक नहीं लगी।
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