भारत में अंतर्राष्ट्रीय विद्यार्थियों की शैक्षणिक यात्रा को सरल बनाएगा एसआईआई पोर्टल – धर्मेंद्र प्रधान

स्टडी इन इंडिया पोर्टल एक समर्पित वेबसाइट है, जो भारतीय उच्च शिक्षण संस्थानों (एचईआई) के बारे में व्यापक जानकारी प्रदान करेगी। यह वेबसाइट स्नातक (यूजी), स्नातकोत्तर (पीजी), डॉक्टरेट स्तर के कार्यक्रमों के साथ-साथ योग, आयुर्वेद, शास्त्रीय कलाओं आदि जैसे भारतीय ज्ञान प्रणाली के पाठ्यक्रमों को कवर करने वाले शैक्षणिक कार्यक्रमों की जानकारी देगी।

260

केंद्रीय शिक्षा एवं कौशल विकास मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने गुरुवार को नई दिल्‍ली में संयुक्त रूप से स्टडी इन इंडिया पोर्टल का शुभारंभ किया। इस अवसर पर वर्तमान में भारत में पढ़ रहे रूस, थाईलैंड, जापान, इथियोपिया, इक्वाडोर, कजाकिस्तान और कोरिया गणराज्य के विद्यार्थियों ने गणमान्य व्यक्तियों के प्रति सम्मान के प्रतीक के रूप में अपनी संस्कृति से स्मृति चिह्न भेंट किए।

स्टडी इन इंडिया पोर्टल एक समर्पित वेबसाइट है, जो भारतीय उच्च शिक्षण संस्थानों (एचईआई) के बारे में व्यापक जानकारी प्रदान करेगी। यह वेबसाइट स्नातक (यूजी), स्नातकोत्तर (पीजी), डॉक्टरेट स्तर के कार्यक्रमों के साथ-साथ योग, आयुर्वेद, शास्त्रीय कलाओं आदि जैसे भारतीय ज्ञान प्रणाली के पाठ्यक्रमों को कवर करने वाले शैक्षणिक कार्यक्रमों की जानकारी देगी। वेबसाइट-पोर्टल शैक्षणिक सुविधाओं, अनुसंधान सहायता और संबंधित जानकारी प्रस्तुत करेगा। नई वेबसाइट में अब विद्यार्थियों के लिए अपनी पसंद के एक से अधिक संस्थानों/पाठ्यक्रमों में आवेदन करने का प्रावधान होगा। नया पोर्टल विद्यार्थी पंजीकरण और वीज़ा आवेदन प्रक्रिया के लिए एक एकीकृत वन-स्टॉप समाधान प्रदान करेगा।

इस अवसर पर अपने संबोधन में प्रधान ने कहा कि एसआईआई पोर्टल एक वन-स्टॉप प्लेटफ़ॉर्म है, जो भारत में अंतर्राष्ट्रीय विद्यार्थियों की शैक्षणिक यात्रा को सरल बनाएगा। उन्होंने कहा कि एनईपी द्वारा निर्देशित, एसआईआई पोर्टल भारत को एक पसंदीदा शिक्षा गंतव्य बनाने के साथ-साथ समृद्ध भविष्य को आकार देने के लिए शैक्षणिक सीमाओं को मिटाने की हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है। प्रधान ने कहा कि शिक्षा को भू-राजनीतिक सीमाओं से परे बनाने के प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी के विजन के साथ, स्टडी इन इंडिया पोर्टल भारत को उच्च शिक्षा का एक पसंदीदा गंतव्य बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बनने जा रहा है।

डॉ. एस. जयशंकर ने अपने संबोधन में कहा कि यह पोर्टल विविध पृष्ठभूमि के विद्यार्थियों का स्वागत करके भारत को शिक्षा का वैश्विक केंद्र बनाने की सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। यह शिक्षा क्षेत्र में ब्रांड ‘इंडिया’ की मजबूत अंतर्राष्ट्रीय उपस्थिति दर्ज करेगा। उन्होंने कहा कि यह पोर्टल पंजीकरण से लेकर वीजा अनुमोदन और वांछित पाठ्यक्रमों या संस्थानों का चयन करने तक, भारत में अध्ययन करने के इच्छुक अंतर्राष्ट्रीय विद्यार्थियों की यात्रा को आसान बनाएगा। उन्‍होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय विद्यार्थियों की उपस्थिति से घरेलू विद्यार्थियों को भी वैश्वीकृत दुनिया से अधिक निकटता से जुड़ने और वैश्विक कार्यस्थल के लिए बेहतर तरीके से तैयार होने जैसे लाभ प्राप्‍त होंगे। उन्होंने बताया कि एनईपी 2020 के कार्यान्वयन से भारत में विदेशी विश्वविद्यालयों के प्रवेश और हमारे प्रमुख संस्थानों के अंतर्राष्ट्रीय परिसर खुलने की शुरुआत हो चुकी है।

यह भी पढ़ें – लोकसभा में पास हुआ दिल्ली सर्विस बिल

Join Our WhatsApp Community
Get The Latest News!
Don’t miss our top stories and need-to-know news everyday in your inbox.