महाराष्ट्र : सरकार से आक्रोशित हैं हिंदू संत!

देश का संत समुदाय महाराष्ट्र में संतों की स्थिति पर चिंता व्यक्त करता रहा है। संतों के प्रति किये जा रहे व्यवहार और हिंदुओं की प्रताड़ना पर अब शीर्ष संत मुंबई भी आने लगे हैं।

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राज्य में संतों पर हुए हमले और हिंदुओं के उत्पीड़न से संबंधित प्रश्नों को लेकर महाराष्ट्र सरकार की नीतियों से संत समुदाय आक्रोशित है। निरंजनी अखाड़ा के प्रमुख संत स्वामी आनंद गिरि जी का मुंबई प्रवास हिंदू समुदाय के जनजागरण के उद्देश्य से महत्वपूर्ण माना जा रहा है। स्वामी जी अपने प्रवास काल में मुंबई में प्रतिष्ठित लोगों से मिलेंगे और हिंदुत्व पर हो रहे हमले को लेकर जागरूकता उत्पन्न करेंगे। राज्य में संतों पर हमलों को लेकर देश का संत समुदाय राज्य सरकार की नीतियों से क्षोभित है।

निरंजनी अखाड़ा के प्रमुख संत और बाघंबरी पीठ प्रयागराज के उत्तराधिकारी योग गुरु स्वामी आनंद गिरि महाराज मुंबई आए हुए हैं। उन्होंने मीडिया से बातचीत में पालघर में 16 अप्रैल 2020 को हुई संतों की हत्या, 13 नवंबर को औरंगाबाद के लाडसावंगी में प्रियशरण महाराज के आश्रम में प्रवेश करके हमला और मालवणी में हिंदुओं को पलायन के लिए मजबूर करने के मामलों को उठाया। उनका मानना है कि राज्य सरकार हिंदुओं पर होनेवाले अत्याचारों और मॉब लिंचिग रोकने में निष्प्रभावी रही है।

कोरोना के बढ़ते संक्रमण को लेकर स्वामी जी ने अपनी इस यात्रा को सीमित दायरे में ही रखा है। उनका प्रयोजन इस यात्रा से सरकार को चेतावानी देने का है जिसके लिए वे लोगों से मिलनेनवाले हैं। लेकिन सामाजिक कार्यक्रमों में वे संक्रमण के खतरे से लोगों को सुरक्षित रखते हुए ही हिस्सा लेंगे।

इसलिए संत समुदाय आक्रोशित

  • 16 अप्रैल 2020 को पंचदशनाम जूना अखाड़े के दो संत कल्पवृक्ष गिरि और सुशील गिरि को पालघर में लोगों ने पीट-पीटकर मार दिया। यह नृशंस हत्याकांड पुलिस के समक्ष हुआ। इसके वीडियो में तो स्पष्ट रूप से दिखा कि पुलिस ने स्वत: भीड़ से बचाने की गुहार लगाते संतों को भीड़ की सामने कर दिया।
    इस प्रकरण को लेकर देशभर के संतों ने राज्य सरकार की आलोचना की और चेतावनी जारी की थी। लेकिन कोरोना महामारी के कारण संतों ने पूरे समाज को आंदोलन और प्रदर्शनों में धकेलने से बचाते हुए स्वत: को नियंत्रित रखा।
  • 13 नवंबर 2020 को औरंगाबाद के लाडसावंगी मार्ग पर स्थित प्रियशरण महाराज के आश्रम में हमला हुआ था। इसमें 7-8 लोगों मे आश्रम में प्रवेश करके संत से मारपीट की गई थी।
  • 27 दिसंबर 2020 औरंगाबाद के पेठण तहसील के जांभली गांव में गणेश पुरी शिंदे नामक साधु पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया था। इस हमले में साधु को बहुत चोट आई थी। इस प्रकरण में 25 से अधिक लोगों पर मामला दर्ज किया गया था।
  • 2 जनवरी 2021 को मालाड के मालवणी में एक प्रकरण सामने आया था। जिसमें यहा रहनेवाले 8 से 10 हिंदु परिवारों को बहुसंख्यक लोग भगाना चाहते थे। वे उन्हें हमेशा परेशान करते थे। इसके लिए स्थानीय पुलिस से कई हिंदुवादी संगठनों और राजनीतिक दलों के लोग भी मिले थे।

 

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