Ranji Final: मुंबई(Mumbai) ने 14 मार्च को यहां वानखेड़े स्टेडियम(Wankhede Stadium) में विदर्भ(Vidarbha) को 169 रनों से हराकर रिकॉर्ड 42वां रणजी ट्रॉफी खिताब जीत लिया(Won the 42nd Ranji Trophy title) है। इस जीत के साथ ही मुंबई ने आठ साल से चले आ रहे रणजी खिताब(Ranji title) के सूखे को खत्म किया।
गेंदबाजों के प्रदर्शन का नेतृत्व अनुभवी धवल कुलकर्णी ने किया जो अपना विदाई मैच खेल रहे थे, मुंबई की जीत घरेलू क्रिकेट में कुलकर्णी को एक शानदार विदाई गिफ्ट था।
टॉस जीतकर गेंदबाजी का फैसला
मैच में विदर्भ ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। मुंबई की टीम ने अपनी पहली पारी में शार्दुल ठाकुर के 75 रनों की शानदार अर्धशतकीय पारी और पृथ्वी शॉ (46) और भूपेन लालवानी (37) की महत्वपूर्ण पारियों की बदौलत 224 रन बनाए। विदर्भ के लिए यश ठाकुर और हर्ष दुबे ने 3-3 विकेट लिये, जबकि उमेश यादव को 2 और आदित्य ठाकरे को 1 विकेट मिला।
105 रनों पर सिमट की टीम
जवाब में विदर्भ की टीम पहली पारी में केवल 105 रनोों पर सिमट गई। विदर्भ के लिए अथर्व टाडे ने 23 और यश राठौर ने 27 रन बनाए। विदर्भ के 6 बल्लेबाज दहाई का आंकड़ा भी नहीं पार कर सके।
ऐसे लिखी गई जीत की कहानी
मुंबई की ओर से धवल कुलकर्णी, शम्स मुलानी और तनुष कोटियन ने 3-3 विकेट लिए, जबकि शार्दुल ठाकुर को 1 विकेट मिला।
पहली पारी के आधार पर मुंबई को 119 रनों की बढ़त मिली। मुंबई ने दूसरी पारी में मुशीर खान (136) के बेहतरीन शतक और श्रेयस अय्यर (111 गेंदों पर 95 रन), कप्तान अजिंक्या रहाणे (73) और शम्स मुलानी (नाबाद 50) के शानदार अर्धशतकों की बदौलत 418 रन बनाए और विदर्भ को 538 रन का लक्ष्य दिया।
विदर्भ के लिए दूसरी पारी में हर्ष दुबे ने 5, यश ठाकुर ने 3, आदित्य ठाकरे और अमन मोखडे ने 1-1 विकेट लिया।
जवाब में विदर्भ की टीम अक्षय वाडेकर (102) के शानदार शतक और करुण नायर (74) और हर्ष दुबे (65) की बेहतरीन अर्धशतकीय पारियों के बावजूद 368 रन ही बना सकी और 169 रनों से मैच गंवा दिया।
मुंबई के लिए दूसरी पारी में तनुष कोटियन ने 4, मुशीर खान और तुषार देशपांडे ने 2-2 व धवल कुलकर्णी और शम्स मुलानी ने 1-1 विकेट लिया। मुशीर खान को उनकी बेहतरीन ऑलराउंड प्रदर्शन के लिए मैन ऑफ द मैच चुना गया।
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