Lok Sabha Results: सरकार बनाने के लिए जोड़ तोड़ में लगी इंडी गठबंधन, आज मीटिंग में होगा फैसला

चंद्रबाबू नायडू और नीतीश कुमार को खुलेआम इंडी गठबंधन में आने का न्योता दिया गया है। तेजस्वी यादव ने तो कह दिया है कि वह दिल्ली इंडी गठबंधन की सरकार बनाने के लिए आ रहे हैं।

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Lok Sabha Results: एनडीए गठबंधन (NDA alliance) को केंद्र में सरकार बनाने का स्पष्ट बहुमत मिल चुका है। 543 सीटों के लिए 18वीं लोकसभा के चुनाव (18th Lok Sabha Elections) में एनडीए को 293 सीटें मिली है। जबकि इंडी गठबंधन को 233 सीटें मिली है। जनता का जनादेश एनडीए के पक्ष में है ।लेकिन इंडी गठबंधन जोड़-तोड़ से सरकार बनाने में लग गई है।

चंद्रबाबू नायडू और नीतीश कुमार को खुलेआम इंडी गठबंधन में आने का न्योता दिया गया है। तेजस्वी यादव ने तो कह दिया है कि वह दिल्ली इंडी गठबंधन की सरकार बनाने के लिए आ रहे हैं।

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कहीं फिर ना लौट आए गठबंधन की मजबूरी का दौर?
एनडीए के तीन दर्जन से ज्यादा दलों वाले एनडीए गठबंधन में सबसे ज्यादा नजर तेलुगु देशम पार्टी और जनता दल यूनाइटेड पर रहेगी दोनों के पास 30 सीटें होने से उनकी अहमियत बढ़ गई है। वर्ष 2014 और वर्ष 2019 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में बीजेपी के पास अकेले बहुमत था इस कारण दूसरे दलों के पास सौदेबाजी की ताकत नहीं थी।

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नीतीश और चंद्रबाबू नायडू क्या खतरा लेंगे पाला बदलने का?
राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि एनडीए की केंद्र सरकार में जनता दल (यू) और टीडीपी पर शामिल होते हैं तो उनकी तरफ से केंद्र सरकार पर बिहार और आंध्र प्रदेश के लिए विशेष पैकेज का दबाव बनाया जा सकता है बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार काफी पहले से विशेष राज्य का दर्जा देने का दबाव बना रहे हैं इसी तरह से टीडीपी सुप्रीमो चंद्रबाबू नायडू ने विधानसभा चुनाव में केंद्र से आंध्र प्रदेश के लिए विशेष पैकेज हासिल करने के लिए प्रमुख चुनावी मुद्दा बनाया था। इसी मुद्दे पर दोनों दलों से इंडी गठबंधन सौदेबाजी करने पर तुला है।

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गठबंधन सरकार की मजबूरी?
गठबंधन सरकार की अपनी मजबूरियां होती हैं। आपको याद होगा कि तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने वर्ष 2014 में अपनी अंतिम प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि हम गठबंधन की सरकार हैं इससे हमारे विकल्प सीमित हो जाते हैं। क्या इंडी गठबंधन खासकर कांग्रेस दूसरे दलों को तोड़कर अपनी सरकार बनाने का खतरा मोल लेगा।

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