Article 370: केंद्र सरकार ने 24 जुलाई को कहा कि केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद समग्र कानून-व्यवस्था की स्थिति में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। रोजाना होने वाली हड़ताल, पत्थरबाजी और बंद रखे जाने की घटनाएं अब अतीत की बात हो गई हैं।
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में कहा कि अनुच्छेद 370 के निरस्त किए जाने के बाद से केंद्र शासित प्रदेश में संगठित रूप से पथराव और संगठित हड़ताल की कोई घटना नहीं हुई है। उन्होंने बताया कि इस साल 15 जुलाई तक केंद्र शासित प्रदेश में 11 आतंकवादी घटनाएं हुईं। 2023 में यह आंकड़ा 46 था जबकि 2018 में 228 आतंकवादी घटनाएं हुई थीं। उन्हाेंने बताया कि इस वर्ष 10 सुरक्षाकर्मी और 14 नागरिक मारे गए हैं।
शांति की राह पर जम्मू-कश्मीर
उन्होंने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद शांति, प्रगति और समृद्धि देखी जा रही है। उन्होंने कहा कि पिछले चार वर्षों के दौरान स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय, अस्पताल और अन्य सार्वजनिक संस्थान बिना किसी हड़ताल या किसी भी तरह की अन्य गड़बड़ी के बगैर कुशलतापूर्वक काम कर रहे हैं।
हड़ताल, पत्थरबाजी में कमी
राय ने कहा कि रोजाना होने वाली हड़ताल, पत्थरबाजी और बंद रखे जाने की घटनाएं अब अतीत की बात हो गई हैं। रिकॉर्ड मतदान के साथ, जम्मू और कश्मीर के लोगों ने हाल ही में हुए लोकसभा चुनावों में उत्साहपूर्वक भाग लिया। उन्होंने कहा कि बेहतर कानून-व्यवस्था के कारण, जम्मू और कश्मीर में 2023 में 2.11 करोड़ पर्यटक आए। विदेशी पर्यटकों के आगमन में 2.5 गुना वृद्धि हुई है। इस सद्भावनापूर्ण कानून और व्यवस्था की स्थिति ने सरकार को सामाजिक-आर्थिक विकास शुरू करने और उसे कार्यान्वित करने में मदद की है।