Paris Olympics: ‘सिर्फ 12 घंटे थे और 2.7 किग्रा वजन घटाना था…!’ भारत के मुख्य चिकित्सा अधिकारी का आया बयान

पेरिस ओलंपिक में भारत के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. दिनशॉ पारदीवाला ने दिया है। उन्होंने विनेश फोगाट के अयोग्य ठहराये जाने के पूरे घटनाक्रम पर पेरिस में पत्रकारों से बातचीत में यह जानकारी दी।

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Paris Olympics में विनेश फोगाट का कुश्ती के 6 अगस्त के सेमीफाइनल के बाद वजन 2.7 किग्रा बढ़ गया था। इसे कम करने के लिए उनके और उनकी टीम के पास केवल 12 घंटे थे। रातभर पूरी कोशिश करने के बावजूद भी सुबह वजन 50 किग्रा से 100 ग्राम अधिक रह गया। यहां तक की फोगाट के कपड़े और बाल तक काट दिए गए। अगर विनेश और उनकी टीम के पास कुछ और समय होता तो शायद वजन मानक तक लाया जा सकता था।

उक्त बयान पेरिस ओलंपिक में भारत के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. दिनशॉ पारदीवाला ने दिया है। उन्होंने विनेश फोगाट के अयोग्य ठहराये जाने के पूरे घटनाक्रम पर पेरिस में पत्रकारों से बातचीत में यह जानकारी दी।

सेमीफाइनल के बाद पाया गया 2.7 किलोग्राम अधिक वजन
पादरीवाला ने बताया कि शाम को सेमीफाइनल के बाद वजन तय मानक से 2.7 किलोग्राम अधिक पाया गया। इसके बाद टीम और कोच ने अपना काम शुरू किया। इसमें पानी और भोजन में कटौती और आपने पसीना बहाना शामिल था। इसके लिए समय चाहिए होता है। दुर्भाग्यवश ज़्यादा समय नहीं था। सिर्फ 12 घंटे थे। पूरी रात, पूरी टीम विनेश का वजन कम करने की कोशिश करती रही। उन्हें भाप और सौना में रखा गया, व्यायाम कराया गया और सभी संभव चिकित्सकीय प्रक्रिया की गई। हमें उसके बाल काटने जैसे कुछ कठोर कदम भी उठाने पड़े। अगर शायद कुछ घंटे और होते तो हम 100 ग्राम का लक्ष्य हासिल कर सकते थे।

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वजन अधिक रहने के कारण अयोग्य
उन्होंने बताया कि इस पूरी प्रकिया के बावजूद भी वजन अधिक रहने के कारण वे अयोग्य मानी गईं। इसके बाद एहतियाती उपाय किए गए। उनके शरीर में तरलता बढ़ाई गई। साथ ही खाना-पीना शुरू कराया गया। वह शारीरिक और चिकित्सकीय रूप से बिल्कुल सामान्य हैं। हमने एहतियात के तौर पर उनका रक्त परीक्षण कराया है।

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