महाराष्ट्र (Maharashtra) में शिवसेना उबाठा (Shiv Sena Ubatha) और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (Maharashtra Navnirman Sena) के बीच विवाद (Controversy) बढ़ने की आशंका बढ़ती जा रही है। हालांकि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Chief Minister Eknath Shinde) ने कहा कि वे इस विवाद का किसी भी कीमत पर समर्थन नहीं करेंगे, लेकिन यह क्रिया पर प्रतिक्रिया और प्रतिक्रिया पर फिर से प्रतिक्रिया ही है।
जानकारी के अनुसार, शनिवार को ठाणे (Thane) में उद्धव ठाकरे के काफिले पर मनसे कार्यकर्ताओं (Workers) ने नारियल, कीचड़ और चुड़ी फेंक कर प्रदर्शन किया था। इसके बाद रविवार को शिवसेना उबाठा के कार्यकर्ताओं ने कोल्हापुर शहर में राज ठाकरे का बैनर फाड़ दिया। रविवार सुबह भी पूर्व सांसद और उद्धव ठाकरे समूह के नेता राजन सालवी ने मनसे कार्यकर्ताओं को ललकारते हुए कहा कि हिम्मत है तो सामने आएं।
कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त
राकांपा सांसद सुप्रिया सुले ने कहा कि राज्य में एक राजनीतिक दल के अध्यक्ष पर हमला हो रहा है, गृह विभाग क्या कर रहा है। जबकि कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि राज्य में राजनीतिक दलों के नेता सुरक्षित नहीं रह गए हैं। कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त हो चुकी है। इन घटनाओं को एक्शन -रिएक्शन कहकर टाला नहीं जा सकता। पुलिस को निष्पक्ष रहकर काम करना जरुरी है।
दरअसल, मनसे नेता राज ठाकरे ने सोलापुर में तीन दिन पहले कहा था कि महाराष्ट्र में आरक्षण की जरुरत नहीं है। राज ठाकरे के इसी बयान का विरोध करते हुए मराठा कार्यकर्ताओं ने शुक्रवार को बीड़ जिले में मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे के काफिले पर सुपारी फेंक कर प्रदर्शन किया था। इसके बाद शनिवार को मनसे कार्यकर्ताओं ने ठाणे में उद्धव ठाकरे के काफिले पर नारियल फेंककर प्रदर्शन किया। इस प्रक्रिक्रिया के बाद कोल्हापुर में आज उद्धव ठाकरे के कार्यकर्ताओं ने मनसे का पोस्टर फाड़ कर अपना विरोध जताया है। इस मामले में अगर राज्य सरकार की ओर से कड़ी कार्रवाई नहीं की गई तो यह विवाद और बढ़ने की आशंका है।
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