Telangana: पुलिस ने बताया कि 5 सितंबर (गुरुवार) को छत्तीसगढ़ की सीमा से लगे तेलंगाना के भद्राद्री कोठागुडेम जिले (Bhadradri Kothagudem district) में सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ (Encounter with security forces) में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी) Communist Party of India (Maoist) के छह सदस्य मारे (six members killed) गए। यह गोलीबारी सुबह-सुबह करकागुडेम ब्लॉक के नीलाद्रिगुट्टा वन क्षेत्र में हुई। इस गोलीबारी में माओवाद विरोधी दस्ते के दो ग्रेहाउंड पुलिसकर्मी घायल हो गए।
मृतक माओवादियों की पहचान
भद्राद्री कोठागुडेम के पुलिस अधीक्षक बी रोहित राजू ने संवाददाताओं को बताया कि मुलुगु जिले की सीमा से लगे रघुनाधापालम गांव के पास नीलांद्रिगुट्टा पहाड़ी के आसपास गोलीबारी तब शुरू हुई, जब ग्रेहाउंड पुलिस कर्मियों की एक टीम वन क्षेत्र में तलाशी अभियान चला रही थी। राजू ने कहा, “इस गोलीबारी में छह माओवादी मारे गए और दो सुरक्षाकर्मी घायल हो गए।” उन्होंने कहा कि मुठभेड़ स्थल से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद जब्त किया गया है। उन्होंने कहा कि मृतक माओवादियों की पहचान की जा रही है और शवों को पोस्टमार्टम के लिए कोठागुडेम सरकारी अस्पताल भेज दिया गया है।
यह भी पढ़ें- Maharashtra: नागपुर में बस और ट्रक की टक्कर में चार लोगों की मौत, करीब 20 घायल
50 मामले दर्ज
हालांकि, एक अन्य पुलिस अधिकारी ने, जिन्होंने अपनी पहचान उजागर नहीं की, कहा कि मारे गए माओवादियों में पलवंचा-मनुगुरु-करकागुडेम डिवीजनल कमेटी का सदस्य और दस्ते का कमांडर ‘लछन्ना’ शामिल है, जबकि अन्य लोगों में तुलसी, सुखराम, रामू, दुर्गेश और कोसी शामिल हैं। छत्तीसगढ़ के रायपाडु का मूल निवासी, ‘लछन्ना’ सबसे वांछित सीपीआई (माओवादी) नेताओं में से एक था, जिसके सिर पर 10 लाख रुपये का इनाम था। ‘लछन्ना’ के खिलाफ विभिन्न पुलिस थानों में 50 मामले दर्ज थे।
यह भी पढ़ें- Indian Army: सिक्किम जाते समय सड़क दुर्घटना में चार भारतीय सैन्यकर्मी हुतात्मा, यहां पढ़ें
नौ माओवादियों को मार गिराया
यह घटना छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में मंगलवार को एक बड़ी मुठभेड़ के बाद हुई है, जहां सुरक्षा बलों ने नौ माओवादियों को मार गिराया था। मारे गए लोगों में शीर्ष माओवादी नेता माचेरला एसोबू भी शामिल था, जिसे जगन, दादा रणदेव और रणधीर सहित कई उपनामों से भी जाना जाता था। तेलंगाना के हनमकोंडा जिले के काजीपेट मंडल के टेकुलागुडेम का मूल निवासी एसोबू एक प्रमुख वामपंथी उग्रवादी व्यक्ति था और उसके सिर पर 25 लाख रुपये का इनाम था।
यह भी पढ़ें- Anubhav Sinha: आईसी 814 के बाद निर्देशक अनुभव सिन्हा हुए ट्रोल, शाहरुख खान के इस फिल्म का है मामला
10 माओवादी मारे गए
2018 के बाद से तेलंगाना में यह पहली बड़ी मुठभेड़ थी; मार्च 2018 में जयशंकर भूपालपल्ली जिले में हुई मुठभेड़ में 10 माओवादी मारे गए थे। इनके अलावा, छत्तीसगढ़ की सीमा से लगे भद्राद्री कोठागुडेम, मुलुगु और जयशंकर भूपालपल्ली जिलों के सीमावर्ती क्षेत्रों में हिंसा की कभी-कभार होने वाली घटनाओं को छोड़कर, तेलंगाना में माओवादियों द्वारा वस्तुतः कोई बड़ी गतिविधि नहीं हुई है।
ऑपरेशन कगार
ऊपर उद्धृत दूसरे पुलिस अधिकारी ने कहा, “छत्तीसगढ़ के जंगलों में ‘ऑपरेशन कगार’ के नाम से सुरक्षा बलों द्वारा तेज किए गए अभियानों के मद्देनजर, कुछ माओवादी दलम (समूह) सुरक्षित क्षेत्र की तलाश में सीमावर्ती क्षेत्रों में प्रवेश करने की कोशिश कर रहे हैं। इसलिए, छत्तीसगढ़ स्थित सशस्त्र माओवादी विद्रोहियों का एक समूह जंगल की सीमा पार करके तेलंगाना में प्रवेश कर सकता है, जिसके कारण गुरुवार की मुठभेड़ हुई।”
यह वीडियो भी देखें-
Join Our WhatsApp Community