पीएम मोदी ने उर्वरक की कीमतों के मुद्दे पर एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। उन्होंने जोर देकर कहा कि अंतरराष्ट्रीय कीमतों में बढ़ोतरी के बावजूद किसानों को पुरानी दरों पर खाद मिलनी चाहिए। बैठक में निर्णय लिया गया कि किसानों को 500 रुपये प्रति बोरी की जगह 1200 रुपये प्रति बोरी डीएपी उर्वरक की सब्सिडी मिलेगी। यह जानकारी पीएमओ द्वारा दी गई है।
PM Modi chaired a high-level meeting on issue of fertiliser prices. He stressed that farmers should get fertilisers at old rates despite the international rise in prices. It was decided that farmers will get a subsidy of Rs 1200/bag of DAP fertiliser instead of Rs 500/bag: PMO pic.twitter.com/6Emun9iYfY
— ANI (@ANI) May 19, 2021
बता दें कि महाराष्ट्र के होटल व्यसायी और बार मालिकों के बाद राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी प्रमुख शरद पवार का किसानों के लिए दर्द छलका था। उन्होंंने उनकी परेशानी और उर्वरकों के दाम बढ़ाए जाने को लेकर केंद्र सरकार से अपनी नाराजगी जताई थी। महाराष्ट्र की महाविकास आघाड़ी के शिल्पकार शरद पवार ने कोरोना महामारी के समय किसानों की बढ़ी परेशानियों को और ऐसे कठिन समय में केंद्र सरकार द्वारा उर्वरकों के दाम बढ़ाने के निर्णय के लिए केंद्र सरकार की आलोचना की थी। इस संबंध में उन्होंने केंद्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा को पत्र लिखकर उर्वरक के दाम बढ़ाने के निर्णय को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए उसे अविलंब वापस लेने की मांग की है।
किसानों की राहत के लिए तत्काल कदम उठाने की जरुरत
पूर्व केंद्रीय कृषि मंत्री ने अपने पत्र में लिखा था कि कोरोना महामारी की दूसरी लहर ने हर क्षेत्र के लोगों को किसी न किसी रुप में प्रभावित किया है। इस काल में बहुत-से लोगों की आजीविका खतरे में पड़ गई है। लेकिन किसान सबसे ज्यादा त्रस्त हैं। उनकी परेशानी को समझकर उन्हें तत्काल राहत देने के लिए कदम उठाने की जरुरत है।
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फसलों की बढ़ेगी लागत
पवार ने ऐन मॉनसून के आगमन से पहले उर्वरकों के दाम बढ़ाए जाने को लेकर अपना दर्द व्यक्त करते हुए पत्र में लिखा था कि ऐसी विकट परिस्थिति में भी मदद का हाथ बढ़ाने की बजाय केंद्र सरकार ने उर्वरकों के दाम बढ़ाने का निर्णय लेकर जले पर नमक छिड़कने का काम किया है। 18 मई को लिखे अपने पत्र में पवार ने कहा था कि फसलों की बुवाई के समय से ही किसानों के लिए कठिनाई पैदा की जा रही है। इससे फसलों के उत्पादन की लागत बढ़ेगी और मुनाफा कम होने से किसानों का जीवन और कठिन हो जाएगा।
ईंधन के दाम बढ़ने पर भी जताई नारागी
पत्र में सरकार का ध्यान पेट्रोल और डीजल की बढ़ी हुई कीमतों की ओर भी आकर्षित किया गया था और कहा गया गया था कि पहले से ही ईंधन के दाम आसमान में हैं और अब उर्वरकों के दाम भी बढ़ाए जाने से किसानों पर दोहरी मार पड़ेगी। पवार ने केंद्र सरकार से इसकी तुरंत समीक्षा करने की मांग की थी। कृषि मंत्री को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा था कि यदि आप व्यक्तिगत रुप से इस मामले को देख कर मूल्य वृद्धि को वापस लेने का निर्णय लेंगे तो मुझे खुशी होगी। पवार ने कहा था कि अगर आप कोरोना महामारी से सबसे अधिक प्रभावित किसानों को राहत देने के लिए और भी कुछ कदम उठा सकें, तो अच्छी बात होगी।
बार मालिकों के राहत देने का किया था आग्रह
बता दें कि हाल ही में पवार ने कोरोना काल में महाराष्ट्र के होटल व्यवसायी और बार मालिकों की परेशानी को लेकर भी प्रदेश की उद्धव सरकार को पत्र लिखा था और उन्हें टैक्स के साथ ही कई अन्य मामलों में राहत देने का आग्रह किया था।