कोविशील्ड और कोवैक्सीन के बाद भारत में तीसरी वैक्सीन स्पूतनिक वी का उत्पादन शुरू हो गया है। रशियन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट फंड (आरडीआईएफ) और पैनेसिया बायोटेक ने यहां इसका उत्पादन शुरू किया है। भारत की पैनेसिया बायोटेक अब हर साल देश में 10 करोड़ वैक्सीन का उत्पादन करेगी। रुस द्वारा विकसित यह कोरोना वायरस रोधी वैक्सीन काफी कारगर मानी जाती है।
आरडीआईएफ ने कहा है कि पैनेसिया बायोटेक द्वारा बनाई गई वैक्सीन का पहला बैच गुणवत्ता की जांच के लिए रुस के इंस्टीट्यूट गैमेलिया को भेजा जाएगा। जून तक इसका पूरी क्षमता के साथ उत्पादन शुरू होने की उम्मीद है।
– पैनेसिया बायोटेक कई तरह की दवाओं और वैक्सीन का उत्पादन करता है।
– इसकी स्थापना 1984 में हुई थी।
– यह 1995 में पैनेसिया बायोटेक लिमिटेड के नाम से सूचीबद्ध की गई थी।
कोरोना से लड़ाई में मिलेगी मदद
आरडीआईएफ के सीईओ किरिल दिमित्रीदेव ने कहा है कि पैनेसिया बायोटेक में स्पूतनिक वी का उत्पादन शुरू होना, महामारी के खिलाफ भारत की लड़ाई में मदद के लिए महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। बता दें कि स्पूतनिक वी वैक्सीन पहली और दूसरी डोज में अलग-अलग एडेनोवायरस उपयोग करती है। यह वैक्सीन 65 देशों में रजिस्टर्ड है। इसे कोरोना वायरस पर 91.16 प्रतिशत कारगर माना जाता है।
BREAKING: RDIF and Panacea Biotec launch the production of Sputnik V in India. #India's @PanaceaBiotec now to produce 100 million doses of #SputnikV per year
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हर वर्ष 10 करोड़ वैक्सीन उत्पादन का लक्ष्य
मई के अंत तक इसके 30 लाख वैक्सीन और जून तक भारत को 50 लाख वैक्सीन मिलने की उम्मीद है। हर वर्ष 10 करोड़ वैक्सीन उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है।