राज्य सरकार अपनी बसों को वाइरस प्रूफ करने जा रही है। इसके लिए सभी बसों पर एक माइक्रोबायल कोटिंग की जाएगी, जिससे इस पर कोई वाइरस, फंगस, बैक्टीरिया नहीं जम पाएगा।
राज्य में लगभग दस हजार बसें सड़कों पर दौड़ती हैं, जिनसे लाखो यात्री अपने गंतव्य तक पहुंचते हैं। इस परिस्थिति में कोविड-19 वाइरस के फैलने के खतरे को रोकने के लिए महाराष्ट्र स्टेट रोड ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन ने साढ़े नौ करोड़ रुपए खर्च करके बसों पर एंटी माइक्रो बायल कोटिंग चढ़ाने का निर्णय लिया है। इससे बसों से संक्रमण फैलने का खतरा कम हो जाएगा। प्रति बस लगभग 9,500 का खर्च होगा।
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ऐसे की जाएगी कोटिंग
अधिकारियों के अनुसार बसों के सीट, हैंड रेस्ट, खिड़की, गार्ड रेल, चालक की केबिन, फ्लोरिंग, रबड़ ग्लेजिंग, दरवाजे और लगेज कम्पार्टमेन्ट में एक विशेष केमिकल का छिड़काव किया जाएगा। इस संदर्भ में मई में निविदाएं आमंत्रित की गई थीं। जिसमें से दो कंपनियों को चयनित किया गया है।
ऐसा है केमिकल
इस केमिकल का असर छह महीने तक बसों पर रहेगा। इसके बाद पुन उस पर कोटिंग की जाएगी। इस दौरान बसों को धोने आदि से इसका प्रभाव कम नहीं होगा। एमएसआरटीसी की यह योजना एक वर्ष के लिए है। केमिकल के प्रभाव को जांचने के लिए इसकी प्रयोगशाला में जांच करवाई जाएगी।