मुंबई के जोसेफ आश्रम शाला के 95 बच्चों का कोविड-19 टेस्ट किया गया था। इसमें से 22 की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। जिन्हें शहर के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है।
दक्षिण मुंबई स्थित आश्रम शाला में रहनेवाले बच्चों के कोरोना पॉजिटिव होने से हड़कंप है। यहां के कुल 95 बच्चों का कोरोना टेस्ट किया गया था। जिनमें से 22 बच्चे कोरोना पॉजिटिव निकले हैं। ये बच्चे विभिन्न आयु वर्ग के हैं।
- 12 वर्ष से कम आयु – 4 बच्चे – नायर अस्पताल के पीडियाट्रिक वॉर्ड में भर्ती
- 12 से 18 वर्ष की आयु – 11 किशोरों को किया गया रिचर्डसन क्रूडास में भर्ती
- 7 वयस्क – रिचर्डसन क्रूडास में भर्ती
तीसरी लहर पर सरकार का कदम
स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने महाराष्ट्र सरकार की कैबिनेट बैठक के बाद मीडिया को संबोधित किया। उन्होंने बताया कि, पहली और दूसरी लहर में बच्चों के कोरोना संक्रमित होने का प्रमाण 8 से 10 प्रतिशत था। परंतु, मृत्यु का प्रमाण अत्यल्प था। जिसके कराण चिंतित होने की आवश्यकता नहीं है। अब एक आश्रम शाला में कुछ बच्चों के संक्रमित होने की जानकारी मिली है, उन बच्चों का उपचार किया जाएगा।
तीसरी लहर से बचने के लिए स्वास्थ्य मंत्री ने एकमात्र उपाय टीकाकरण बताया है। उन्होंने कहा कि, कोविड-19 की तीसरी लहर अमेरिका, इंग्लैंड आदि देशों में चल रही है। परंतु, वहां मृत्यु के आंकड़े बहुत कम हैं इसका एकमात्र कारण टीकाकरण है। महाराष्ट्र में कुल जनसंख्या के 52 प्रतिशत लोगों को टीके की पहली डोज लग चुकी है। शेष 48 प्रतिशत जनसंख्या को टीका लगाने का कार्य पूर्ण गति से जारी है।
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