असम-मेघालय सीमा विवाद को लेकर 20 को जनता भवन (असम सचिवालय) में दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों डॉ. हिमंत बिस्व सरमा (असम), कॉनराड संगमा (मेघालय) ने बैठक की। इस दौरान दोनों राज्यों के बीच शेष छह सीमावर्ती क्षेत्रों में विवादों को सुलझाने के लिए तीन क्षेत्रीय स्तर की समितियां बनाने का निर्णय लिया गया।
दोनों सरकारों के बीच एक चर्चा के बाद मेघालय ने असम के साथ सीमा विवाद के 12 क्षेत्रों का हवाला दिया और तदनुसार पहले चरण में छह विवादित स्थलों को हल करने के लिए बैठकें और चर्चा की गई और शेष छह को दूसरे चरण के लिए छोड़ दिया गया। शुरू की गई बैठकों और गतिविधियों की श्रृंखला के परिणाम के रूप 29 मार्च, 2022 को नई दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की उपस्थिति में एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए, जिससे छह विवादित स्थलों को हल करने का मार्ग प्रशस्त हुआ।
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9वीं मुख्यमंत्री स्तरीय बैठक
मुख्यमंत्रियों के बीच 22 अगस्त को हुई 9वीं मुख्यमंत्री स्तरीय बैठक में शेष छह क्षेत्रों के मतभेदों को दूर करने का नेतृत्व करने के लिए तीन क्षेत्रीय समितियों के गठन का निर्णय लिया गया। समितियों का नेतृत्व प्रत्येक राज्य के कैबिनेट मंत्रियों के साथ-साथ कार्बी आंगलोंग स्वायत्तशासी परिषद के सदस्यों द्वारा किया जाएगा, क्योंकि छह में से तीन विवाद स्थल केएएसी के अधिकार क्षेत्र में आते हैं। 15 दिनों के भीतर दोनों सरकारें क्षेत्रीय समितियों के सदस्यों के नाम सूचित करेंगी और व्यापक दौरे के बाद स्थानीय लोगों से दोस्ती की भावना का पालन करते हुए आपसी सहमति से समाधान निकालने के लिए मतभेदों को दूर करेंगी।
छह विवादित सीमाओं का हुआ समाधान
सद्भावना और विश्वास बहाली के उपाय के तौर पर दोनों राज्यों के मुख्यमंत्री भी विवाद स्थलों का दौरा करेंगे और स्थानीय लोगों से बातचीत करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्वा सरमा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को धन्यवाद देते हुए कहा कि पहले चरण में छह विवादित सीमाओं का समाधान करने के बाद शेष सीमा विवादों को भी मार्गदर्शन में सौहार्दपूर्ण ढंग से हल किया जाएगा।
ये रहे उपस्थित
असम के मुख्य सचिव जिष्णु बरुवा, मेघालय के उनके समकक्ष डीपी वाहलांग, मुख्यमंत्री (असम) के प्रधान सचिव समीर सिन्हा, गृह एवं राजनीतिक प्रमुख सचिव नीरज वर्मा, सचिव सीमा सुरक्षा एवं विकास प्रभाती थाओसेन, सचिव गृह एवं राजनीतिक मेघालय सिरिल डिएंगदोह और दोनों राज्यों के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।