राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय (एनएसडी) द्वारा आयोजित 22वां भारत रंग महोत्सव 14 फरवरी से शुरू होगा। दिल्ली समेत देश के दस शहरों में आयोजित होने वाले इस महोत्सव में 80 नाटक का मंचन किया जाएगा। इनमें दिल्ली, नासिक, जयपुर, राजमुंदरी, भोपाल, जम्मू, श्रीनगर, गुवाहाटी, रांची और केवडिया शामिल हैं। यह नाट्य उत्सव 26 फरवरी तक चलेगा।
6 फरवरी को आयोजित प्रेसवार्ता में एनएसडी के निदेशक डॉ रमेश चंद्र गौड़ 22वें भारत रंग महोत्सव के बारे में कहा कि इसमें 80 से ज़्यादा नाटकों के प्रदर्शन के साथ साथ लोक प्रदर्शन, पुस्तक विमोचन, राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी, लिविंग लेजेंड, मास्टर क्लासेस, मीट द डायरेक्टर एवं अन्य इवेंट्स शामिल होंगे। उन्होंने बताया कि इस उत्सव का उद्देश्य भारत की सांस्कृतिक संपदा और रंगमंच के माध्यम से वैश्विक पटल पर देश को समृद्ध बनाना है।
नाटक और सांस्कृतिक प्रदर्शनियों का आयोजन
उन्होंने बताया कि 22वें भारत रंग महोत्सव में भारतीय रंगमंच परंपराओं की स्वर्णिम झलक दिखाई देगी। इसमें सिर्फ कलाकार ही नहीं, बल्कि देश के जाने-माने रंग निर्देशक भी शामिल होंगे । 22वें भारत रंग महोत्सव में नाटकों और सांस्कृतिक प्रदर्शनियों का भव्य आयोजन होगा, जिसमें वैश्विक परिप्रेक्ष्य में रंगमंच के मानवीय व रणनीतिक महत्व के कई विषयगत पैनल चर्चाएं होंगी। उन्होंने बताया कि 22वें भारत रंग महोत्सव के लिए अंतरराष्ट्रीय प्रविष्टियों सहित 960 पंजीकरण में से चयन करते हुए शीर्ष नाटकों की एक सूची तैयार की है । कोरोना महामारी के प्रकोप के कारण हमें विदेशी प्रतिभागियों की स्वास्थ्य सुरक्षा को देखते हुए उनके लिए आमंत्रण प्रक्रिया को स्थगित करना पड़ा था। हमने क्षेत्रीय भाषाओं में भी नाटकों की प्रस्तुतियों को सूचीबद्ध किया है।
उन्होंने बताया कि एनएसडी दिल्ली इस महोत्सव में 10 पारंपरिक प्रदर्शनियों की भी मेजबानी करने जा रहा है। इस महोत्सव में अधिक युवा रंगमंच प्रेमियों को शामिल करने का प्रयास किया है।
100 से अधिक थिएटर समूह लेती हैं भाग
उल्लेखनीय है कि भारत रंग महोत्सव में सालाना 100 से अधिक थिएटर समूह भाग लेती हैं । यह अपनी तरह का एक अनूठा रंगमंच सम्मेलन है, जिसमें लाइव रंगमंच के साथ ही प्रदर्शनियां, निर्देशक-दर्शक वार्तालाप, संगोष्ठी और वैश्विक थिएटर से संबंधित विविध विषयों पर कार्यक्रम शामिल हैं।