रक्षा बंधन पर इस बार भद्रा काल का संकट है। जिसके कारण पंचांग के जानकार रक्षा बंधन बांधने के लिए रात्रि काल का समय बता रहे हैं। इसके अलावा भी एक अशुभ काल है, जानकारों के अनुसार उस काल में रक्षा सुत्र बांधने से बचें।
बुधवार को पड़नेवाले रक्षा बंधन (Raksha Bandhan) के त्योहार में भद्रा नक्षत्र (Bhadra Nakshatra) के साथ ही राहु काल (Rahu kal) का अशुभ योग है। इसके कारण पंचांग (Panchang) के पंडितों के अनुसार भद्रा और राहु काल दोनों के बीच के समय में रक्षा बंधन नहीं करना चाहिये।
भद्रा काल सबेरे से रात्रि 9 बजकर 02 मिनट तक
राहु काल दोपहर 12.22 से लेकर 1.58 बजे तक
रक्षा बंधन को शुभ का सूचक माना जाता है। इस दिन बहनें अपने भाई की कलाई में राखी बांधकर रक्षा का वरदान मांगती हैं। पंचांग गणना के अनुसार जो लोग रक्षा बंधन का त्योहार 30 अगस्त को मनाना चाहते हैं, वे रात 9.02 बजे के बाद ही राखी बांधें।
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(इस समाचार में प्रकाशित जानकारी ज्योतिषों द्वारा सार्वजनिक की गई है। हिंदुस्थान पोस्ट इसकी कोई जिम्मेदारी नहीं लेता।)
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