जी-20 विदेश मंत्रियों की बैठक के लिए दुनियाभर से मेहमान नेताओं का भारत आगमन हो रहा है। इसी क्रम में रूस और ब्रिटेन के विदेश मंत्री भी भारत पहुंचे हैं जिनसे विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने आज यहां मुलाकात की।
रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव से मुलाकात की जानकारी देते हुए विदेश मंत्री जयशंकर ने ट्वीट कर कहा कि जी-20 विदेश मंत्रियों की बैठक के मौके पर उनके साथ व्यापक चर्चा हुई। आपसी द्विपक्षीय सहयोग और जी-20 विषयों पर विचार साझा किये।
ब्रिटेन के विदेश मंत्री भी मिले
इससे पहले जयशंकर ने ब्रिटेन के विदेश मंत्री जेम्स केलेवर्ली से भी मुलाकात की और संबंधों में हुई प्रगति की समीक्षा की। जयशंकर ने विशेष रूप से युवा पेशेवरों से जुड़ी योजना की शुरुआत की सराहना की। वैश्विक स्थिति के साथ-साथ जी-20 की रूपरेखा पर भी विचारों का आदान-प्रदान किया।
यूरोपीय संघ के एचआरवीपी से भेंट
यूरोपीय संघ के एचआरवीपी जोसेप बोरेल फोंटेल्स से विदेश मंत्री की मुलाकात जी-20 की कार्यसूची और यूक्रेन कॉन्फ़्लिक्ट पर केंद्रित रही। साथ ही दोनों नेताओं ने भारत-यूरोपीय संघ के बीच सहयोग की निरंतर प्रगति को भी सराहा।
सागर नीति पर चर्चा
कोमोरोस के विदेश मंत्री और अफ्रीकी संघ के अध्यक्ष दोहीर धोलकमल से मुलाकात में विदेश मंत्री ने ‘सागर’ नीति के अन्तर्गत, समुद्री पड़ोसियों के प्रति भारत के दृढ़ समर्थन को दोहराया। उन्हें आश्वस्त किया कि भारत की जी-20 अध्यक्षता वैश्विक दक्षिण के विषयों को प्राथमिकता देगी।
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विकास के मुद्दों पर बात
मेक्सिको के विदेश मंत्री मार्सेलो एबरार्ड सी. के साथ विदेश मंत्री जयशंकर ने मजबूत बहुपक्षीय सहयोग को सराहा, साथ ही जी-20 एजेंडे पर चर्चा की। साथ ही प्रगति और विकास से संबंधित मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया।
अफ्रीकी संघ के हित का मुद्दा
नाइजीरिया के विदेश मंत्री ज्योफरी ओनयेमा से मिलकर जयशंकर ने उन्हें वैश्विक दक्षिण और अफ्रीकी संघ के हितों के लिए भारत की प्रतिबद्धता को रेखांकित किया। इसके अलावा कनाडा, अर्जेंटीना, नीदरलैंड, सिंगापुर के विदेश मंत्रियों का भी भारत आगमन हो चुका है।