मुंबई में 26/11 आतंकवादी हमले की 14वीं बरसी पर शनिवार को विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि इतने सालों के बाद भी इस हमले के असली गुनहगारों को सजा नहीं मिल पाई है। हमले की योजना बनाने और इसकी देखरेख करने वालों को दंडित नहीं किया जा सका है। उन्हें न्याय के कठघरे में नहीं लाया गया है।
उन्होंने कहा कि गुनहगारों को सजा दिलाने के लिए वे कई अन्य देशों के साथ काम कर रहे हैं, जिनके नागरिकों ने भी इस हमले में जान गंवाई थी, ताकि वास्तविक अपराधी न्याय से बच न सकें। यह एक ऐसा अवसर है, जब पूरा देश इसे याद कर रहा है। मैं इस बात को रेखांकित करना चाहता हूं कि हम दृढ़ता से न्याय की प्रक्रिया को पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
श्रद्धांजलि अर्पित की
शनिवार को विभिन्न स्थानों पर इस घटना में शहीद हुए लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस घटना में 140 निर्दोष लोगों की जान गई थी और 300 से अधिक लोग घायल हुए थे और अरबों से अधिक संपत्ति का नुकसान हुआ था। राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने 26/11 हमले में मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की है।
Terrorism threatens humanity.
Today, on 26/11, the world joins India in remembering its victims. Those who planned and oversaw this attack must be brought to justice.
We owe this to every victim of terrorism around the world. pic.twitter.com/eAQsVQOWFe
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) November 26, 2022
कामा अस्पताल ने याद किये दो गार्ड
कामा अस्पताल के कर्मचारियों और नर्सों ने 26/11 हमले में जान गंवाने वाले अस्पताल के 2 गार्ड को श्रद्धांजलि दी। चिकित्सा अधीक्षक डॉ.तुषार ने बताया कि आतंकियों को रोकते हुए उन पर गोलियां चली थीं। उन दोनों के पास कोई बंदूक या अन्य हथियार नहीं थे, फिर भी वह आतंकियों से लड़े। यह गर्व की बात है। हम हर साल उनको वहीं श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं, जहां उनकी मृत्यु हुई। उनके परिजनों को हमने नौकरी भी दी है।
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आतंकवाद के खिलाफ लड़ना है
मुंबई पर 14 साल पहले हुए आतंकी हमले में जान गंवाने वाले लोगों को इजऱाइल के महावाणिज्य दूत कोबी शोशानी ने नरीमन हाउस और लियोपोल्ड कैफे में श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि मुझे वह दिन याद है। इस घटना के कुछ दिनों बाद मुझे मुंबई भेज दिया गया। मैंने देखा कि यह इमारत सबसे अच्छी स्थिति में नहीं थी। इसके अंदर गोला-बारूद की गंध महसूस हुई। मैंने टूटी हुई खिड़कियां और खून देखा। आतंकवादी हमले की जगह हमें हर दिन याद दिलाती है कि हमें आतंकवाद के खिलाफ लड़ना है।
इजरायल हमेशा भारत के साथ
भारत में इजरायल के राजदूत नाओर गिलोन ने कहा कि आतंकवादी हमले का मुकाबला करने के लिए इजराइल हमेशा भारत के साथ है। दोनों देश आतंक के शिकार हैं। हमें एकजुट होना है। आतंकवाद और इसके वित्तपोषण से निपटने के लिए भारत में आयोजित अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित करने की सराहना करते हैं। आतंकवाद का मुकाबला करने का एकमात्र तरीका एक साथ एकजुट होना है। हम कभी नहीं भूलेंगे और कभी माफ नहीं करेंगे और हम साथ खड़े हैं।
अमेरिका ने अर्पित की श्रद्धांजलि
मुंबई आतंकवादी हमलों की 14वीं बरसी पर अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने ट्विट करके कहा कि हम भारत और मुंबई शहर के लोगों के साथ एकजुटता से खड़े हैं। हम क्रूरता के इस कृत्य में मारे गए पीड़ितों के परिवारों और दोस्तों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं, जिसमें 6 अमेरिकी नागरिक भी शामिल हैं।