भारत में जी 20 सम्मेलन को लेकर दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में चर्चाएं हैं। इस सम्मेलन में दुनिया के सदस्य देशों के दिग्गज नेता पहुंचे हैं। चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने आखिरी समय पर जी20 के लिए नई दिल्ली का अपना दौरा टाल कर प्रतिनिधि के तौर पर वहां के प्रधानमंत्री ली कियांग को भेजा है। इसके साथ ही वैश्विक मंच पर भारत की बढ़ती साख को देखते हुए चीन पूरे आयोजन पर बेहद नजदीकी नजर रख रहा है।
चीन के सरकारी मीडिया ग्लोबल टाइम्स के एक लेख में जी20 के लिए सतर्कता के साथ भारत की तारीफ की गई है लेकिन पश्चिमी देशों पर निशाना साधते हुए उन पर अपना एजेंडा चलाने का आरोप लगाया गया है। ग्लोबल टाइम्स में `Who is the ‘spoiler’ of the G20 summit in New Delhi?’ शीर्षक से प्रकाशित लेख में कहा गया है कि तैयारियों को देखकर लगता है कि पहली बार इतने व्यापक रूप से बहुपक्षीय राजनयिक शिखर सम्मेलन का आयोजन कर रहे भारत को लगता है कि इसकी सफलता से दुनिया में उसका कद बढ़ेगा।
लेख में कहा गया है कि जी20 दुनिया का प्रमुख आर्थिक सहयोग मंच है लेकिन अमेरिका और पश्चिमी देश अपने एजेंडे को बढ़ावा देने की मंशा रखते हैं। पश्चिमी देश जी 20 के एजेंडे की बजाय रूस-यूक्रेन संघर्ष पर ध्यान दे रहे हैं। भारत ने यूक्रेन को जी20 में नहीं बुलाया। यह भी आरोप लगाया गया है कि भारत की जी20 की अध्यक्षता में पश्चिमी देशों ने हमेशा से भारत के साथ चीन के संघर्ष को हवा दी है।
यह भी पढ़ें – आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू गिरफ्तार, जानिए क्या है प्रकरण? –
चीन ने कि भारत की प्रशंसा
लेख में भारत की प्रशंसा करते हुए कहा गया है कि भारत बहुपक्षीय कूटनीति व आर्थिक सुधार पर इस पूरे आयोजन को केंद्रित रखने की कोशिश की है, जो हमेशा से इस मंच का मुख्य विषय रहा है लेकिन पश्चिमी देश ऐसा नहीं चाहते। आलेख में चिंता जताई गई है कि बेहद जटिल परिस्थितियों के बीच पश्चिमी देशों के कारण शायद इतिहास में पहली बार संयुक्त वक्तव्य जारी न किए जाएं। भारत ने जी 20 शिखर सम्मेलन के लिए छह प्राथमिकताओं हरित विकास और जलवायु वित्त, समावेशी विकास, डिजिटल अर्थव्यवस्था, सार्वजनिक बुनियादी ढांचा, टेक्नोलॉजी ट्रांसफॉर्मेशन और सामाजिक व आर्थिक प्रगति के लिए महिला सशक्तीकरण में सुधार की घोषणा की है।
हालांकि दिल्ली में जी20 सम्मेलन शुरू हो चुका है और जी20 में अफ्रीकी यूनियन को सदस्यता मिलने के साथ इस सम्मेलन की सफलता की पटकथा तैयार हो चुकी है। यूरोपीय संघ के बाद देशों का यह सबसे बड़ा समूह जी20 से जुड़ गया है।
Join Our WhatsApp Community