30 जून का इतिहासः जानिये, क्यों है यह दिन खास

7 जुलाई 1935 को लंदन के एक घर में आग लग गई। हादसे में पांच महिलाओं की मौत हो गई।

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आज अलग-अलग तरह की आपातकालीन सेवाओं के लिए अलग-अलग फोन नंबर हैं और जरूरत के समय ये इतने कारगर साबित हुए हैं कि इससे बड़ी संख्या में लोगों की जान बचाई जा रही है। हालांकि इस बात पर कम ही ध्यान जाता है कि इन इमरजेंसी नंबरों का चलन आखिर कब और कहां शुरू हुआ।

7 जुलाई 1935 को लंदन के एक घर में आग लग गई। हादसे में पांच महिलाओं की मौत हो गई। पड़ोस के रहने वाले एक व्यक्ति ने आग लगने के तत्काल बाद फायर ब्रिगेड को फोन करने की कोशिश की लेकिन उसे एक टेलीफोन कॉल के लिए लंबी कतार में खड़ा होना पड़ा। नतीजा यह निकला कि महिलाओं को बचाया न जा सका।

पहला इमरजेंसी नंबर 999 जारी
इसी घटना से सबक लेकर करीब दो साल बाद 30 जून 1937 को लंदन में दुनिया का पहला इमरजेंसी नंबर 999 जारी किया गया। यह महिलाओं के लिए जारी किया गया था, जो आज भी जारी है। इमरजेंसी नंबर की खासियत यह है कि ये बगैर सिम कार्ड के भी चलते हैं। यह एक तकनीकी सुविधा है और ये नंबर नई तकनीक के तहत चलते हैं।

फौरन दिखने लगा लाभ
इस सेवा के शुरू होते ही इसके परिणाम सामने आने लगे। नंबर जारी होने के महज सात दिनों बाद 7 जुलाई 1937 को एक महिला के साथ हुई वारदात में अपराधी की तत्काल गिरफ्तारी संभव हो सकी। इसका फायदा देखते हुए पूरी दुनिया में इमरजेंसी नंबरों का इस्तेमाल होने लगा। भारत में भी अलग-अलग आपातकालीन सेवाओं के लिए अलग-अलग नंबर हैं। आपातकालीन स्थिति में पुलिस सहायता के लिए 100, फायरब्रिगेड के लिए 101, एंबुलेंस सेवा के लिए 102 और 108 पर डायल किया जा सकता है।

अन्य अहम घटनाएंः

1294ः स्विटजरलैंड के बर्ने प्रांत से यहूदियों को निकाला गया।

1868ः क्रिस्टोफर श्लेस को टाइपराइटर के लिए पेटेंट अधिकार मिला।

1914ः दक्षिण अफ्रीका में भारतीयों के अधिकारों की लड़ाई में महात्मा गांधी की गिरफ्तारी।

1938ः बच्चों का पसंदीदा कार्टून सुपरमैन पहली बार कॉमिक्स में नजर आया।

1948ः ब्रिटिश सेना की आखिरी टुकड़ी इजराइल छोड़ कर देश लौटी।

1997ः हांगकांग से ब्रिटिश हुकूमत खत्म हुई।

2000ः अमेरिकी राष्ट्रपति बिल क्लिंटन ने इलेक्ट्रॉनिक सिग्नेचर को कानूनी मान्यता दी।

जन्मः

1903ः भारतीय राजनीतिज्ञ एवं लोकसभा सदस्य मुकुट बिहारी लाल भार्गव।

1911ः जाने-माने साहित्यकार बाबा नागार्जुन।

1928ः लोकप्रिय संगीतकार कल्याण जी।

1934ः सुप्रसिद्ध वैज्ञानिक सीएनआर राव।

1966ः अमेरिकी बॉक्सर माइक टाइसन।

1969ः श्रीलंका के विस्फोटक बल्लेबाज सनत जयसूर्या।

निधनः

1917ः सुप्रसिद्ध राजनेता, उद्योगपति व विचारक दादा भाई नौरोजी।

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