Jammu and Kashmir: आज 9 फरवरी को राज्यसभा में जम्मू कश्मीर पंचायती राज विधेयक (Jammu Kashmir Panchayati Raj Bill) (संशोधन) विधेयक, संविधान (जम्मू कश्मीर) अनुसूचित जातियां आदेश Legislative (Scheduled Castes Order) (संशोधन) विधेयक 2024 और संविधान (जम्मू कश्मीर) अनुसूचित जनजातियां आदेश (scheduled tribes order) (संशोधन) विधेयक 2024 पर एक साथ चर्चा हुई। इन विधेयकों पर राज्यसभा में केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय (Nityanand Rai), सामाजिक न्याय व अधिकारिता मंत्री वीरेंद्र कुमार (Virendra Kumar) और जनजातीय मामलों के मंत्री अर्जुन मुंडा (Arjun Munda) ने जवाब दिया। उसके बाद इसे ध्वनिमत से पारित किया गया। लोकसभा इन विधेयकों को पहले ही मंजूरी दे चुकी है।
सामाजिक एवं आर्थिक आयामों में सुधार
चर्चा के दौरान केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने जम्मू कश्मीर स्थानीय निकाय कानून (संशोधन) विधेयक, 2024 पर जवाब देते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर को लेकर विपक्ष के लोग जो भी आरोप लगाए हैं, वह सच से परे हैं। अनुच्छेद 370 को हटाने के बाद वहां विकास को गति मिली है और राज्य मुख्यधारा से जुड़ा है। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में शांति, सुरक्षा और विकास सहित सामाजिक एवं आर्थिक आयामों में सुधार हुआ है।
Minister of State for Home Affairs @nityanandraibjp moves The Jammu and Kashmir Local Bodies Laws (Amendment) Bill, 2024 for consideration and passing in #RajyaSabha.@VPIndia @nityanandraibjp pic.twitter.com/NZck4B35Sc
— SansadTV (@sansad_tv) February 9, 2024
पंचायतों और नगर पालिकाओं में अन्य पिछड़ा वर्गों को आरक्षण
जम्मू और कश्मीर स्थानीय निकाय कानून (संशोधन) विधेयक, 2024 को जम्मू और कश्मीर पंचायती राज अधिनियम, 1989, जम्मू और कश्मीर नगरपालिका अधिनियम, 2000 और जम्मू और कश्मीर नगर निगम अधिनियम, 2000 में संशोधन लाने के लिए डिज़ाइन किया गया है। इसका प्राथमिक उद्देश्य जम्मू और कश्मीर में पंचायतों और नगर पालिकाओं में अन्य पिछड़ा वर्गों के लिए आरक्षण शुरू करना है, जो केंद्र शासित प्रदेश के स्थानीय निकाय कानूनों को संवैधानिक प्रावधानों के साथ संरेखित करता है। इसके अतिरिक्त, विधेयक का उद्देश्य स्थानीय निकाय चुनाव कराने का अधिकार मुख्य निर्वाचन अधिकारी से जम्मू और कश्मीर के राज्य चुनाव आयोग को हस्तांतरित करना है।