पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस के प्रवक्ता कुणाल घोष ने एक बार फिर चौंकाने वाला बयान दिया है। 11 अप्रैल को आत्महत्या की कोशिश के एक मामले में बारासात की विशेष अदालत में पेशी के दौरान उन्होंने अपनी ही पार्टी के वरिष्ठ नेता व ममता सरकार के कैबिनेट मंत्री पार्थ चटर्जी का नाम लिये बगैर उन पर तीखे वार किये। उन्होंने आईकोर चिटफंड मामले का जिक्र करते हुए कहा कि जिन्हें जेल में होने चाहिए वे मंत्री बनकर घूम रहे हैं। इतना ही नहीं एसएसकेएम अस्पताल में इलाजरत तृणमूल नेता अणुव्रत मंडल पर अप्रत्यक्ष हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि एसएसकेएम अस्पताल इलाज के लिए नहीं बल्कि अपराधियों के लिए सबसे सुरक्षित पनाहगाह बन गया है।
न्यायालय में जज के सामने रोए
कुणाल घोष 11 अप्रैल को न्यायालय में जज के सामने फूट-फूट कर रो पड़े। तृणमूल के प्रवक्ता और प्रदेश महासचिव कुणाल घोष ने 11 अप्रैल को विशेष एमपी-एमएलए न्यायालय में जज के सामने रोते हुए कहा कि जो मंच पर बोलते थे, वह मुझे पागल कहते थे। वह अब मंत्री बनकर घूम रहे हैं। उन्हें जेल में डालने की जरूरत है।
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आत्महत्या के प्रयास का मामला
कुणाल घोष ने आत्महत्या के प्रयास के एक मामले में न्यायाधीश के एक सवाल के जवाब में यह टिप्पणी की। घोष ने कहा कि मेरे दांतों का इलाज नहीं किया गया, जबकि वुडबर्न वार्ड में अपराधी लोगों का इलाज किया जा रहा है। वुडबर्न (एसएसकेएम का वार्ड) अस्पताल है, या कैदियों का आश्रय?
भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी पर भी हमला बोला
इस दौरान कुणाल घोष ने भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा कि जो सारधा और नारदा जैसे मामलों में आरोपित रहे थे, आज बड़े बनकर घूम रहे हैं लेकिन उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होती।