महाराष्ट्र विधानपरिषद की रिक्त 10 सीटों के लिए 20 जून को होने वाले चुनाव में 11 उम्मीदवार मैदान में है। सोमवार को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के शिवाजी गर्जे और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के समर्थित उम्मीदवार सदाभाऊ खोत ने अपना नामांकन वापस लिया है।
भाजपा के उम्मीदवार
प्रवीण दरेकर
राम शिंदे
श्रीकांत भारतीय
प्रसाद लाड
उमा खापरे
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) उम्मीदवार
रामराजे निंबालकर
एकनाथ खडसे
शिवसेना उम्मीदवार
सचिन अहीर
आमशा पाडवी
कांग्रेस उम्मीदवार
चंद्रकांत हंडोरे
अशोक उर्फ भाई जगताप
बातचीत फेल
विधानपरिषद की 10 रिक्त सीटों के लिए 13 उम्मीदवारों ने नामांकन दाखिल किया था। सोमवार को नामांकन वापस लेने की अंतिम तारीख थी। इसलिए राकांपा अध्यक्ष शरद पवार और देवेंद्र फडणवीस के आवास पर इस चुनाव को निर्विरोध करवाए जाने के लिए बैठक आयोजित की गई थी। बैठक में फडणवीस कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार अशोक भाई जगताप का नामांकन वापस लेने की पेशकश महाविकास आघाड़ी के नेताओं से की जबकि महाविकास आघाड़ी के नेताओं ने भाजपा को सिर्फ चार सीट पर चुनाव लड़ने की पेशकश की। लेकिन दोनों तरफ से आए प्रस्ताव को दोनों ओर से नामंजूर कर दिया गया। इसलिए इस चुनाव को निर्विरोध करवाए जाने का प्रयास विफल हो गया और अब 20 जून को चुनाव होना तय हो गया है।
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भाजपा का दावा
फडणवीस ने पत्रकारों को बताया कि राज्यसभा चुनाव में भाजपा 6 सीटों में 3 सीटें जीत चुकी है। इसलिए भाजपा इस चुनाव में अपने सभी पांच उम्मीदवारों को जीता कर लाएगी। महाविकास आघाड़ी के सहयोगी दलों ने कांग्रेस पार्टी को अशोक भाई जगताप का नामांकन वापस लेने की पेशकश की थी लेकिन अशोक इसके लिए तैयार नहीं हुए। अशोक ने कहा कि वे भले चुनाव हार जाएं लेकिन चुनाव से अपना नामांकन वापस नहीं लेंगे।
ये है जीत का गणित
विधान परिषद की जीत के लिए चाहिए 27 विधायकों का वोट
शिवसेना 55 विधायक
उसके दो उम्मीदवार आसानी से जीत सकते हैं।
राकांपा 54 विधायक
2 विधायक जेल में
दोनों विधायकों को जिताने के लिए दो और वोट की आवश्यकता
कांग्रेस 44 विधायक
कांग्रेस के एक उम्मीदवार की आसानी से जीत
दूसरे उम्मीदवार को 10 निर्दलीय तथा छोटे दलों का मत चाहिए
भाजपा 106 विधायक
निर्दलीय का समर्थन 07
भाजपा के 4 उम्मीदवार आसानी से चुनाव जीत सकते हैं
पांचवें उम्मीदवार को जिताने के लिए 22 अतिरिक्त मतों की आवश्यकता