श्रीलंका में आर्थिक संकट और हिंसा रुकने का नाम नहीं ले रही है। खाद्यान्न संकट के कारण लोग भूखे रहने को मजबूर हैं, जिसका परिणाम उग्र आंदोलन के रूप में सामने आ रहा है। जनता सड़कों पर आंदोलन कर रही है वहीं सरकार आर्थिक संकट दूर करने के प्रयासों में जुटी है। इस बीच देश में राजनीतिक संकट समाप्त कर सरकारी कामकाज सामान्य करने के लिए नए प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने अपने मंत्रिमंडल में नौ नए मंत्री शामिल किये हैं। इन नौ नए कैबिनेट मंत्रियों ने 20 मई को शपथ ली।
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श्रीलंका इस समय भीषण आर्थिक संकट से जूझ रहा है। सरकार पर विदेशी कर्ज बढ़ता जा रहा है। देश में महंगाई चरम सीमा पार कर चुकी है और आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति भी नहीं हो पा रही है। खाद्यान्नों के भंडार खाली होने के कारण लोग भूखे रहने को मजबूर हैं। इस कारण ये लोग सड़क पर उतर कर हिंसा कर रहे हैं। सरकार उन्हें रोकने के तमाम प्रयास कर रही है। इस बीच प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने संसद में एलान किया कि आंदोलनकारियों को देखते ही गोली मारने के आदेश नहीं दिये गए हैं। रानिल विक्रमसिंघे ने सरकारी कामकाज को सुलभ करने के लिए अपने मंत्रिमंडल में नौ और मंत्री शामिल किए हैं।
20 मई को ली शपथ
राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे ने 20 मई को इन नौ मंत्रियों को शपथ दिलाई। पिछले सप्ताह चार अन्य मंत्री शपथ ले चुके हैं। माना जा रहा है कि श्रीलंका की नयी सरकार में प्रधानमंत्री सहित 25 मंत्री होंगे। शेष मंत्रियों को भी जल्द ही शपथ दिलाई जाएगी।