बिहार के पटना और प्रमंडल मुख्यालय के बाद अन्य जिलों के लोग भी अब एफएम सुविधा का लाभ ले सकेंगे। इसके लिए बेगूसराय के साथ ही कटिहार, जमुई, बांका, लखीसराय, बक्सर, शेखपुरा, नवादा एवं सिकंदरा में एफएम ट्रांसमीटर लगा दिया गया है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 28 अप्रैल को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से इस सभी एफएम ट्रांसमीटर का उद्घाटन करेंगे। इसके बाद लोगों को सुबह से छह बजे से रात 11 बजे तक एफएम की सेवा मिलेगी। पहले चरण में अभी सभी जगह के उपभोक्ता विविध भारती पर गानों के साथ-साथ समाचार भी सुनेंगे। इसके बाद स्थानीय भाषा में भी उनके लिए सेवा शुरू की जाने की तैयारी है।
खास बातेंः
-बेगूसराय में प्रसार भारती के बंद हो चुके दूरदर्शन केंद्र में इसकी शुरुआत की जा रही है। रिले कक्ष में एफएम प्रसारण के लिए एक सौ वाट का सर्वर रूम बनाया गया है। जिसके तहत शहर के चारों दिशाओं में दस किलोमीटर के रेडियस में एफएम का ट्रायल प्रसारण एक दिसम्बर से ही चल रहा है। अभी सुबह 11 बजे से शाम चार बजे तक लोग इसकी सुविधा ले रहे हैं।
-प्रधानमंत्री द्वारा उद्घाटन किए जाने के बाद बेगूसराय वासियों को सुबह छह बजे से रात 11 बजे तक 100.1 मेगा हर्टज पर एफएम की सेवा मिलेगी। अभी सिर्फ विविध भारती की सेवा मिलेगी। जिसके तहत गाना के बीच-बीच में प्रति घंटा समाचार प्रसारित किए जाएंगे। उसके बाद जल्द ही दरभंगा रेडियो स्टेशन से कनेक्ट कर यहां क्षेत्रीय भाषा मैथिली में भी एफएम सेवा का प्रसारण किया जाएगा।
-प्रसारण के लिए अभी एक सौ वाट का सर्वर रूम बनाया गया है। इससे दस से 13 किलोमीटर तक के लोगों को सुविधा मिल रही है। लोगों के डिमांड के आधार पर इसका पावर बढ़ाया जाएगा तो पूरे जिले के लोगों को एफएम सेवा मिल सकेगी। ई-रिक्शा सहित अन्य वाहनों पर सात-आठ सौ का किट लगाकर इस मनोरंजक सेवा का लाभ लिया जा सकेगा, इसके अलावा मोबाइल पर भी सुन सकेंगप्रसारण केंद्र बेगूसराय के टेक्नीशियन-सह-इंचार्ज नीरज कुमार ने बताया कि 31 दिसम्बर 2021 को बेगूसराय दूरदर्शन केंद्र बंद कर दिया गया था, लेकिन अब फिर से इसका पुनरुद्धार हो गया है। एक दिसम्बर 2022 से एफएम प्रसारण सेवा का ट्रायल शुरू किया गया। ट्रायल पूरी तरह से सफल रहा, दक्षिण में मटिहानी बांध तक, उत्तर में वीरपुर तक, पश्चिम में गौड़ा तक बेगूसराय के एफएम का प्रसारण सुना जा रहा है।
-उल्लेखनीय है कि पूर्व की सरकारों में बंद हो चुके सरकारी प्रतिष्ठानों को समाप्त ही कर दिया जाता था। लेकिन 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद से नरेन्द्र मोदी बंद प्रतिष्ठानों को पुनर्जीवित कर रहे हैं। जिसमें मोदी सरकार प्रसार भारती को भी पुनर्जीवित कर रही है। रंग-बिरंगे चैनल आने के कारण लोग ब्लैक एंड वाइट दूरदर्शन को भूल गए तो मोबाइल ने रेडियो की उपयोगिता खत्म कर दी। अब नई तकनीक से जुड़ने के कारण लोग टीवी पर दूरदर्शन से जुड़ चुके हैं। दूरदर्शन रिले केंद्रों से एफएम की सेवा दी जा रही है। जो डिजिटल होते भारत की एक बड़ी पहल साबित होगी।
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