Swamitva Yojana: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि स्वामित्व योजना से गांव और गरीब सशक्त होंगे और विकसित भारत का सफर सुहाना होगा। भारत में पिछले लगभग पांच वर्ष में डेढ़ करोड़ ग्रामीणों को उनकी संपत्ति का स्वामित्व पत्र (प्रॉपर्टी कार्ड) दिया गया है। आज 65 लाख से अधिक हितग्राहियों को प्रॉपर्टी कार्ड दिया जा रहा है। इस प्रकार देश के लगभग सवा दो करोड़ ग्रामीणों को उनके घर का पक्का कानूनी दस्तावेज मिला है। भारत की ग्रामीण अर्थव्यवस्था के लिए आज का दिन बहुत ऐतिहासिक है।
प्रधानमंत्री मोदी 18 जनवरी को दिल्ली से स्वामित्व योजना अंतर्गत हितग्राहियों को संपत्ति अधिकार पत्रों के ई-वितरण कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर उन्होंने देश भर के 50 हजार से अधिक गांवों में 65 लाख प्रॉपर्टी कार्डों का वितरण किया, जिनमें मध्य प्रदेश के 15 लाख 63 हजार हितग्राही शामिल हैं। प्रधानमंत्री ने योजना के लाभार्थियों के साथ संवाद भी किया। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव सिवनी जिले से कार्यक्रम में शामिल हुए।
प्रॉपर्टी राइट्स 21वीं सदी की सबसे बड़ी चुनौती का हल
प्रधानमंत्री ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र संघ के एक सर्वे के अनुसार क्लाइमेट चेंज, पानी की समस्या, स्वास्थ्य की समस्या और महामारी की चुनौतियों के साथ ही प्रॉपर्टी राइट्स 21वीं सदी की एक बहुत बड़ी चुनौती है। विश्व के अनेक देशों में गरीबों के पास प्रॉपर्टी राइट्स नहीं है। अर्थशास्त्री कहते हैं कि प्रॉपर्टी राइट्स नहीं होने से उनके पास “डैड कैपिटल” है। उस पर वे कोई लेनदेन नहीं कर सकते, कोई आर्थिक गतिविधि संभव नहीं होती। घर की मिल्कियत के विवाद और दबंगों द्वारा अतिक्रमण का खतरा बना रहता है। स्वामित्व योजना के माध्यम से हमने इस चुनौती का हल निकाल लिया है।
पूर्व सरकारों की आलोचना
उन्होंने कहा पहले की सरकारों ने इस समस्या का कोई ठोस हल नहीं निकाला। वर्ष 2014 में जब हमारी सरकार बनी तब हमने इस योजना को प्रारंभ किया। ड्रोन के माध्यम से जमीनों की मैपिंग कराई गई और गरीबों की संपत्ति के कागज तैयार किए गए। देश में लगभग 6 लाख गांव है, इनमें से आधे से अधिक गांवों का ड्रोन सर्वे पूरा हो चुका है। सवा दो करोड़ ग्रामीणों को प्रॉपर्टी कार्ड मिल गए हैं। इससे देश की अर्थव्यवस्था को नई गति मिलेगी। लगभग 100 लाख करोड़ से ज्यादा की आर्थिक गतिविधियों का रास्ता खुलेगा।
ग्राम पंचायतें आर्थिक दृष्टि से होंगी सशक्त
प्रधानमंत्री ने कहा कि स्वामित्व योजना राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज के सपनों को साकार करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। गरीबों को संपत्ति के अधिकार पत्र मिल जाने से ग्राम पंचायतें आर्थिक दृष्टि से सशक्त होंगी और ग्राम स्वराज जमीन पर उतरेगा। विभिन्न आपदाओं के बेहतर प्रबंधन और ग्रामीणों को समय पर क्लेम मिलने में भी आसानी होगी। उन्होंने कहा कि हमारा भारत गांव में बसता है। गांव का विकास देश का विकास है। स्वामित्व योजना और भू-आधार ग्राम विकास के आधार बनेंगे। देश में 23 करोड़ भू-आधार नंबर जारी किए जा चुके हैं। भू-अभिलेखों का डिजिटाइजेशन किया जा रहा है।
विकसित भारत का किया जिक्र
मोदी ने कहा कि विकसित भारत के निर्माण में नारी शक्ति की महत्वपूर्ण भूमिका है। बैंक सखी, बीमा सखी, लखपति दीदी, ड्रोन दीदी आदि योजनाएं नारी सशक्तिकरण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। देश में सवा करोड़ से ज्यादा लखपति दीदियां बन गई है। कई राज्यों में स्वामित्व योजना के अंतर्गत संपत्ति अधिकार पत्रों में पत्नियों के नाम भी शामिल हैं। प्रधानमंत्री आवास योजना की रजिस्ट्री में भी महिलाओं के नाम शामिल किए गए हैं।
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जिलों में भी हुआ सम्पत्ति कार्ड वितरण कार्यक्रम
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने भी संबोधित किया। प्रधानमंत्री स्वामित्व योजना में सम्पत्ति कार्ड वितरण कार्यक्रम जिला स्तर पर भी आयोजित किये गये। इन कार्यक्रमों में केन्द्रीय मंत्री, प्रदेश के उप मुख्यमंत्री, मंत्रीगण, विधानसभा अध्यक्षय सहित सांसद एवं विधायकगण शामिल हुए और हितग्राहियों को समपत्ति कार्ड वितरण कर उनसे संवाद भी किया।