जम्मू-कश्मीर के कुलगाम जिले में 16 दिसंबर की सुबह देश और समाज के दो दुश्मनों को सुरक्षाबल के जवानों ने ढेर कर दिया। पुलिस के प्रवक्ता ने बताया कि सुरक्षा बलों ने 15 दिसंबर की देर रात को ही जिले के रेडवानी इलाके की घेराबंदी कर तलाशी शुरू कर दी थी। लेकिन अंधेरा होने के कारण अभियान चलाने में देरी हुई। तड़के जब आतंकियों ने सुरक्षाबल के जवानों से खुद को घिरा देखा तो उन्होंने गोलीबारी शुरू कर दी। उसके बाद सुरक्षाबलों की ओर से भी जवाबी कार्रवाई शुरू कर दी गई।
16 दिसंबर की सुबह कुलगाम में हुई मुठभेड़ में दोनों आतंकी मार गिराए गए। उनकी पहचान और संगठन के बारे में अभी तक जानकारी नहीं मिल पाई है।
सुरक्षा बलों ने चलाया तलाशी अभियान
सेना द्वारा दी गई जानकारी क अनुसार गुप्त सूचना मिलने के बाद यह कार्रवाई की गई, जिसमें दो आतंकी ढेर हो गए। उसके बाद सुरक्षाबल के जवानों ने तलाशी अभियान चलाकर यह जानने का प्रयास किया कि कहीं और आतंकी तो नहीं छिपे हैं। आश्वस्त हो जाने के बाद उन्होंने मुठभेड़ खत्म होने की घोषणा कर दी।
15 दिसंबर को भी मारा गया था एक खूंखार आतंकी
इससे पहले 15 दिसंबर को भी पुलवामा में एक मुठभेड़ में हिजबुल मुजाहिदीन का एक आंतकी मार गिराया गया था। उसकी पहचान फिरोज अहमद डार के रुप में हुई थी। वह 2018 में शोपियां के जैनपुरा में हुए हमले समेत कई आतंकी हमलों में शामिल था। शोपियां में किए गए आतंकी हमले में चार पुलिसकर्मी हुतात्मा हो गए थे। डार 2017 से ही सक्रिय था और फरवरी 2019 में उसने एक लड़की की हत्या कर दी थी। लड़की का नाम इशरत मुनीर था।