हिजबुल चीफ सैफुल्ला का सफाया

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जम्मू-कश्मीर में पुलिस और सुरक्षाबलों ने संयुक्त ऑपरेशन के दौरान हिजबुल के चीफ कमांडर सैफुल्ला को मार गिराया है। सैफुल्ला को रियाज नायकू के मारे जाने के बाद हिजबुल का कमांडर बनाया गया था।
मिली जानकारी के अनुसार सैफुल्ला को श्रीनगर जिले के रंगनेत क्षेत्र में हुई मुठभेड़ में मार गिराया गया है। उसके एक साथी को सेना ने जीवित पकड़ने में सफलता पाई है। सैफुल्ला को इसी साल हिजबुल ने अपना चीफ बनाया था।

72 घंटे में काम तमाम
जम्मू-कश्मीर के पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने बताया है कि कुछ दिन पहले हुई भारतीय जनता पार्टी के तीन कार्यकर्ताओं की हत्या में सैफुल्ला का ही हाथ था। बीजेपी नेताओं की हत्या में शमिल आतंकी अब्बास हिजबुल से ही लश्कर में गया था। सेना ने 72 घंटे के भीतर बीजेपी नेताओं के हत्यारे को मार गिराया है।

पुलिस ने बताई बड़ी कामयाबी
जम्मू-कश्मीर के आईजी विजय कुमार ने सैफुल्ला को मारे जाने को बड़ी कामयाबी बताई है। उन्होंने कहा है कि हम अन्य आतंकियों की तलाश में हैं, जिन्होंने बीजेपी कार्यकर्ताओं की हत्या की है। उन्होंने बताया कि हिजबुल के टॉप कमांडर डॉ रियाज नायकू के मारे जाने के बाद सैफुल्ला को संगठन का चीफ बनाया गया था। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर मे पुलिस का नेटवर्क काफी मजबूत है और जो आएगा मारा जाएगा।

रियाज नाइकू जैसा ही खूंखार था सैफुल्ला
सैफुल्ला भी रियाज नायकू जितना ही खुंखार था। सेना की लिस्ट में उसे A++ कैटेगरी में रखा गया था। लेकिन आतंकी कितना भी खूंखार हो, उसका भारतीय सेना की गोली से बचना मुश्किल है। सैफुल्ला को आतंक का डॉक्टर कहा जाता था, क्योंकि उसने मेडिकल की पढ़ाई की थी।

आतंक का डॉक्टर के नाम से जाना जाता था सैफुल्ला
सैफुल्ला एनकाउंडर में घायल आतंकियों का इलाज करता था। इसी बीच आतंकियों ने सैफुल्ला का ब्रेन वॉश कर दिया और उसने आतंक की वर्दी पहन ली। इसके साथ ही उसने एके-47 भी थाम ली थी। 2017 में जब रियाज नायकू को हिजबुल का ऑपरेशन कमांडर बनाया गया था तो सैफुल्ला को भी डिप्टी कमांडर बनाया गया था। नायकू की मौत के बाद कमांडर बनने का सबसे बड़ा दावेदार सैफुल्ला ही था। इसलिए उसे चीफ बना दिया गया था।

8 साल से था सक्रिय
मिली जानकारी के अनुसार सैफुल्ला मीर जम्मू-कश्मीर में पुलवामा के पदगामपोरा का रहनेवाला था। वह पैरामेडिकल की ट्रेनिंग ले चुका था और मेडिकल असिस्टैंट के तौर पर काम करता था। 2012 में वह आतंक की राह पर चल पड़ा था और आतंकी संगठन हिज्बुल मुजाहिद्दीन से जुड़ गया था। पिछले 8 साल से वह दक्षिण कश्मीर में काफी एक्टिव था।

खास बातें

  • जम्मू-कश्मीर पुलिस के 18 जवानों के किडनैप करने का मास्टरमाइंड
  • 2018 में कश्मीर के 4 पुलिस जवानों की हत्या करवाने में शामिल
  • पुलिस को सूचना देनेवाले लोगों की हत्या करवाई
  • कई एसपीओ को पुलिस की नौकरी छोड़ने की दी धमकी
  • सैफुल्ला, सैय्यद सलाहुद्दीन के आदेश पर आतंकी वारदात को देता था अंजाम
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