केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने पीएम गति शक्ति ढांचे को लागू करने के लिए रेलवे की जमीन को दीर्घकालिक पट्टे पर देने की नीति को मंजूरी दी है। इससे लगभग 1.2 लाख नौकरियों पैदा होंगी। यह नीति रेलवे को अधिक राजस्व भी दिलाएगी और 5 वर्षों में 300 पीएम गति शक्ति कार्गो टर्मिनल विकसित किए जाएंगे।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में रेलवे की जमीन को पट्टे पर दिए जाने की नीति में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की।
केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने 7 सितंबर को कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए कहा कि नीति में बदलाव से बुनियादी ढांचे और अधिक कार्गो टर्मिनलों का एकीकृत विकास संभव होगा। कार्गो संबंधी गतिविधियों के लिए रेलवे भूमि को 35 वर्ष तक की अवधि के लिए भूमि के बाजार मूल्य के 1.5 प्रतिशत की दर से पट्टे पर दिया जा सकेगा।
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उन्होंने बताया कि इससे अगले पांच वर्षों में 300 पीएम गति शक्ति कार्गो टर्मिनल विकसित किए जाएंगे। सौर संयंत्रों की स्थापना हेतु नाममात्र लागत पर रेलवे भूमि का उपयोग किया जा सकेगा। सामाजिक बुनियादी ढांचे के विकास को प्रोत्साहित करना (जैसे पीपीपी के माध्यम से अस्पताल और केंद्रीय विद्यालय संगठन के माध्यम से स्कूल बनाना) संभव होगा।
उन्होंने कहा कि माल ढुलाई में रेलवे की मोडल हिस्सेदारी बढ़ाने में मदद मिलेगी। उद्योग की रसद लागत कम होगी और रेलवे को अधिक राजस्व मिलेगा। पीएम गति शक्ति कार्यक्रम में परिकल्पित उपयोगिताओं के लिए अनुमोदन को सरल बनाया जाएगा। इससे लगभग 1.2 लाख रोजगार सृजन संभव होगा।
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