Monsoon: दक्षिण पश्चिम मानसून(Southwest Monsoon) ने केरल तट(Kerala Coast) पर समय से पहले दस्तक दे दी है। मौसम विभाग(Meteorological Department) ने इससे पहले 31 मई को मानसून आने की संभावना(Monsoon likely to arrive on 31 May) जताई थी लेकिन पूर्वानुमान(Forecast) से एक दिन पहले ही मानसून ने केरल में दस्तक दे दी। अब यह पूर्वोत्तर के कुछ हिस्सों की ओर बढ़ रहा है।
मौसम विभाग ने दी जानकारी
मौसम विभाग के वैज्ञानिक डॉ. नरेश कुमार ने 30 मई को बताया कि सभी स्थितियों का आकलन करने के बाद हमने केरल में मानसून के आगे बढ़ने की घोषणा की है। मानसून ने केरल के अधिकांश हिस्सों को कवर कर लिया है। उन्होंने बताया कि अगले 3-4 दिनों में इसके तमिलनाडु और कर्नाटक के कुछ हिस्सों के साथ-साथ उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और शेष पूर्वोत्तर राज्यों को भी कवर करने की संभावना है। वैसे मानसून आने की सामान्य तिथि 5 जून होती है। लेकिन यह 30 मई को ही केरल में आ गया। इसकी वजह यह है कि समुद्र में हवा का पैटर्न पहले से ही स्थापित हो चुका था।
उल्लेखनीय है कि भारत मौसम विज्ञान विभाग ने 29 मई को बताया था कि अगले 24 घंटों के दौरान केरल में दक्षिण-पश्चिम मानसून के आगमन के लिए परिस्थितियां अनुकूल बनी रहेंगी और 31 मई तक इसके पहुंचने की संभावना थी।
मानसून आने की कैसे होती है पुष्टि
10 मई के बाद से किसी भी समय केरल के 14 केंद्रों और पड़ोसी क्षेत्रों में लगातार दो दिनों तक 2.5 मिमी या उससे अधिक वर्षा होती है, तब मानसून आने की पुष्टि की जाती है। इसके अलावा हवा की दिशा दक्षिण-पश्चिम की ओर होने पर भी ध्यान दिया जाता है।