महाराष्ट्र की शिक्षा मंत्री वर्षा गायकवाड़ ने 17 अगस्त से प्रदेश में स्कूल शुरू करने की घोषणा की है। शिक्षा विभाग ने ‘चलो बच्चों स्कूल चलो’ अभियान के तहत ग्रामीण इलाकों में 5वीं से 7वीं और शहरी इलाकों में 8वीं से 12वीं की कक्षाएं शुरू करने की अनुमति दे दी है। इसलिए स्कूलों में कक्षाएं शुरू होने वाली हैं।
ठाणे में स्कूल शुरू करने को लेकर निर्णय लेने का पूरा अधिकार महानगरपालिका आयुक्त को दिया गया है। वे स्थिति की समीक्षा कर इस बारे में निर्णय ले सकते हैं। ठाणे के साथ ही अन्य शहरों में स्कूल शुरू करने के बारे में निर्णय लेने का अधिकार जिला कलेक्टरों को दिया गया है।
स्थानीय प्रशासन को अधिकार
महानगरपालिका क्षेत्र में स्कूल शुरू करने के लिए आयुक्त की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया गया है, जिसमें वार्ड अधिकारी, मनपा चिकित्सा अधिकारी, शिक्षा अधिकारी और शिक्षा निरीक्षक शामिल हैं। इसके साथ ही नगर पंचायत, ग्राम पंचायत स्तर पर स्कूल शुरू करने के लिए जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में कमेटी का गठन किया गया है।
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दिशा-निर्देश
- स्कूल शुरू होने से कम से कम एक महीना पहले कोरोना का संक्रमण कम होना जरुरी है।
- शिक्षकों का टीकाकरण जरूरी है। इसके लिए कलेक्टर को योजना बनानी चाहिए।
- भीड़ से बचने के लिए अभिभावकों को स्कूल परिसर में प्रवेश करने से रोकना जरुरी है।
- विद्यार्थियों की संख्या ज्यादा होने पर स्कूल को दो शिफ्त में शुरु किया जा सकता है।
- कोरोना के नियमों का पालन करना जैसे मास्क, सामाजिक दूरी और सैनिटाइजर का इस्तेमाल जरुरी है।
- कोरोना संक्रमण के लक्षण होने पर छात्रों को कोरोना परीक्षण के लिए तुरंत घर भेजा जाए।
- किसी छात्र के कोरोना संक्रमित होने पर स्कूल को तुरंत बंद किया जाना चाहिए और स्कूल को सैनिटाइज करना चाहिए।