गुजरात (Gujarat) के जूनागढ़ जंक्शन (Junagadh Junction) से कुछ ही किलोमीटर की दूरी पर स्थित महाबत का मकबरा (Tomb of Mahabat) बहादुरुद्दीन भाई हसनभाई के मकबरे के नाम से भी जाना जाता है। यह गुजरात की उन चुनिंदा ऐतिहासिक जगहों में से एक है, जिसे गुजरात आने वाले हर पर्यटक को अपनी लिस्ट में शामिल करना चाहिए। जानकारी के अनुसार, इस मकबरे का निर्माण महाबत खानजी (Mahabat Khanji) के आदेश पर साल 1878 में शुरू हुआ था।
महाबत मकबरा किसने बनवाया था?
महाबत मकबरा गुजरात के जूनागढ़ शहर में स्थित एक भव्य इस्लामी स्मारक है। इस मकबरे का निर्माण नवाब महाबत खानजी द्वितीय के शासनकाल में हुआ था। महाबत मकबरा का निर्माण नवाब महाबत खानजी द्वितीय ने शुरू करवाया था और नवाब बहादुर खानजी तृतीय ने इसे पूरा करवाया था। यह मकबरा गुजरात के ऐतिहासिक स्थलों में से एक है और अपनी अनूठी वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है।
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निर्माण संबंधी जानकारी
– निर्माण शुरू: 1878 ई. (महाबत खानजी द्वितीय के शासनकाल के दौरान)
– निर्माण पूरा: 1892 ई. (बहादुर खानजी तृतीय के शासनकाल के दौरान)
– निर्माता: नवाब महाबत खानजी द्वितीय और बहादुर खानजी तृतीय
– स्थान: जूनागढ़, गुजरात
महाबत मकबरा की विशेषताएँ
– यह मकबरा इस्लामी, हिंदू और यूरोपीय वास्तुकला का एक सुंदर मिश्रण है।
– इसकी नक्काशीदार दीवारें, सर्पिल सीढ़ियाँ और अलंकृत गुंबद इसे खास बनाते हैं।
– मकबरे के चारों ओर भव्य मीनारें और दरवाजों पर की गई बेहतरीन नक्काशी इसकी खूबसूरती में चार चाँद लगाती है।
– यह नवाबी युग की समृद्ध स्थापत्य शैली को दर्शाता है।
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