Khagragarh blast case: पूछताछ के लिए सेंट्रल जेल पहुंची असम एसटीएफ की टीम, होगा सनसनीखेज खुलासा?

तारिकुल का गिरफ्तार आतंकी अब्बास अली से कई बार संपर्क हुआ है। जांच में पता चला है कि जेल से रिहाई होने के बाद तारिकुल को आतंकी संगठन अंसारुल्लाह बांग्ला टीम (एबीटी) में शामिल करने और बंगाल में आतंक फैलाने की योजना बनाई गई थी।

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Khagragarh blast case में शामिल संदिग्ध तारिकुल इस्लाम उर्फ सुमन से पूछताछ के लिए 6 जनवरी को असम एसटीएफ के अधिकारी बहरमपुर सेंट्रल जेल पहुंचे।

सूत्रों के अनुसार, तारिकुल का गिरफ्तार आतंकी अब्बास अली से कई बार संपर्क हुआ है। जांच में पता चला है कि जेल से रिहाई होने के बाद तारिकुल को आतंकी संगठन अंसारुल्लाह बांग्ला टीम (एबीटी) में शामिल करने और बंगाल में आतंक फैलाने की योजना बनाई गई थी।

एबीटी का खतरनाक था इरादा
सूत्रों का कहना है कि एबीटी का उद्देश्य बंगाल में आतंकी नेटवर्क को फैलाना और आत्मघाती दस्तों का निर्माण करना था। पूछताछ के दौरान अगर कोई नई जानकारी सामने आती है, तो तारिकुल को असम ले जाने की योजना है। जरूरत पड़ने पर तारिकुल और अब्बास अली को आमने-सामने बैठाकर पूछताछ की जा सकती है।

संदिग्धों की गिरफ्तारी
5 जनवरी की रात, असम एसटीएफ ने केरल से गिरफ्तार आतंकी साद रादी उर्फ शब शेख के दिए गए बयान के आधार पर नओदा थाना क्षेत्र के दुरलभपुर गांव से सजिबुल इस्लाम और भोलाग्राम से मुस्ताकिम मंडल को गिरफ्तार किया। उनके पास से चार मोबाइल फोन और महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद किए गए थे।

सूत्रों के अनुसार, सजिबुल साद रादी का चचेरा भाई है। गिरफ्तारी के समय सजिबुल अपने ससुराल में था, जहां वह अपनी नवजात बेटी को देखने गया था।

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नओदा थाने में मामला दर्ज
6 जनवरी को सजिबुल और मुस्ताकिम को मुर्शिदाबाद सीजेएम कोर्ट में पेश किया गया। उन पर भारतीय दंड संहिता की धारा 113(3/4/5/6) और 61(2) के तहत मामला दर्ज किया गया है। नओदा थाने में दर्ज मामले का नंबर 346 है। अदालत ने दोनों आरोपितों को 14 दिनों की असम पुलिस हिरासत में भेजने का आदेश दिया। इसके बाद असम एसटीएफ दोनों को लेकर असम के लिए रवाना हो गई।

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