दुमका के पोक्सो कोर्ट ने अंकिता हत्याकांड के दोनों अभियुक्तों शाहरूख हुसैन और नईम उर्फ छोटू खान के खिलाफ 27 सितंबर को आरोप गठित कर दिया। दोनों अभियुक्तों को सेन्ट्रल जेल से वीडियो कान्फ्रेंस के माध्यम से कोर्ट में हाजिर किया गया।
पोक्सो कोर्ट के विशेष न्यायाधीश सह प्रथम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश न्यायालय रमेश चंद्रा ने दोनों अभियुक्तों को उनपर लगे आरोपों को पढ़कर सुनाया और पूछा कि क्या वे अपना अपराध स्वीकार करते हैं। इसपर दोनों अभियुक्तों ने सभी आरोपों से इनकार करते हुए खुद को निर्दोष करार दिया।
इन धाराओं के तहत मामाला दर्ज
कोर्ट ने इस केश में भादवि की धारा 302, 307, 326ए, 354, 504, 506, 509, 34 और पोक्सो एक्ट 2012 की धारा 12 के तहत दोनों के खिलाफ आरोप गठित करते हुए साक्ष्यों के परीक्षण के लिए 28 सितम्बर की तिथि निर्धारित की है। इस दौरान अभियुक्तों की ओर से जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा उपलब्ध करवाये गये अधिवक्ता सिकन्दर मंडल भी मौजूद थे। इससे पूर्व 23 सितम्बर को इस मामले में अभियुक्तों को पुलिस पेपर रिसिव करवाया गया था। ऐसा माना जा रहा है कि अब इस केश की प्रतिदिन सुनवायी होगी, लेकिन दुर्गापूजा के कारण 30 सितंबर तक ही कोर्ट खुला हुआ है।
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आजीवन कारावास की सजा सुनायी
जानकारी के मुताबिक पुलिस ने इस केश में पीड़िता, उसका बयान दर्ज करने वाले कार्यपालक दण्डाधिकारी, बयान के दौरान अस्पताल में मौजूद चिकित्सक सह फूलो झानो मेडिकल कालेज एवं अस्पताल के सहायक प्राध्यापक, दो नर्स, पीड़िता के पिता, केश के अनुसंधानकर्ता समेत 27 गवाह बनाये हैं। इनमें से पीड़िता की मौत हो चुकी है। इस तरह इस केश में पोक्सो कोर्ट में इस हत्याकाण्ड में अभियोजन की ओर से 26 गवाहों के बयान दर्ज करवाये जाने हैं। इस तरह से 27 सितंबर को इस विशेष पोक्सो कोर्ट ने रामगढ़ की 16 वर्षीय किशोरी के साथ सामूहिक दुष्कर्म करनेवाले तीन अभियुक्तों को जीवनपर्यन्त आजीवन कारावास की सजा सुनायी है।
उसके आधार पर माना जा रहा है कि अंकिता हत्याकांड में भी यह कोर्ट अभियुक्तों के सिद्धदोष करार दिये जाने पर कठोर सजा सुनायेगी।
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