China: एलएसी पर बुनियादी ढांचों के निर्माण पर वायुसेना प्रमुख एपी सिंह का बड़ा बयान, जानें क्या कहा

खासकर लद्दाख सेक्टर में, जबकि भारत भी सीमा पर अपने बुनियादी ढांचे को उन्नत कर रहा है। 

36

China: वायुसेना प्रमुख (Air Force Chief) एयर चीफ मार्शल अमर प्रीत सिंह (Air Chief Marshal Amar Preet Singh) ने शुक्रवार को कहा कि चीन (China) वास्तविक नियंत्रण रेखा (Line of Actual Control) पर तेजी से बुनियादी ढांचे का निर्माण (infrastructure construction) कर रहा है, खासकर लद्दाख सेक्टर (Ladakh sector) में, जबकि भारत (India) भी सीमा पर अपने बुनियादी ढांचे को उन्नत कर रहा है।

वायुसेना दिवस से पहले एक संवाददाता सम्मेलन में एपी सिंह ने विभिन्न भौगोलिक क्षेत्रों में भू-राजनीतिक तनाव और संघर्षों पर भी बात की और कहा कि भविष्य की किसी भी सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए स्वदेशी हथियार प्रणालियों का होना महत्वपूर्ण है।

यह भी पढ़ें- West Asia crisis: प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट समिति की बैठक, इस मुद्दे पर हुई चर्चा

भारत में निर्मित सभी हथियार
एपी सिंह ने कहा, “भारतीय वायुसेना के पास 2047 तक भारत में निर्मित सभी हथियार होने चाहिए।” एक सवाल के जवाब में एयर चीफ मार्शल ने कहा कि रूस ने एस-400 मिसाइल सिस्टम की तीन यूनिटें डिलीवर कर दी हैं और उसने अगले साल तक बाकी दो यूनिटें डिलीवर करने का वादा किया है। एक बेहतरीन टेस्ट पायलट एपी सिंह ने पिछले महीने भारतीय वायुसेना के नए प्रमुख का पद संभाला था। उन्होंने एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी का स्थान लिया, जो तीन साल तक चीफ के तौर पर काम करने के बाद आज सेवानिवृत्त हो गए।

यह भी पढ़ें- West Asia crisis: प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट समिति की बैठक, इस मुद्दे पर हुई चर्चा

40 वर्षों की लंबी और प्रतिष्ठित सेवा
एयर चीफ मार्शल सिंह इससे पहले वायुसेना के उप प्रमुख थे। 27 अक्टूबर 1964 को जन्मे एसीएम सिंह को दिसंबर 1984 में भारतीय वायुसेना के लड़ाकू पायलट वर्ग में शामिल किया गया था। लगभग 40 वर्षों की अपनी लंबी और प्रतिष्ठित सेवा के दौरान, उन्होंने विभिन्न कमांड, स्टाफ, इंस्ट्रक्शनल और विदेशी नियुक्तियों में काम किया है।

यह भी पढ़ें- Bangladesh Hindu genocide: बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार, न्यूयॉर्क में हिंदुओं के नरसंहार को रोकने की अनोखी मांग

5,000 घंटे से अधिक उड़ान का अनुभव
राष्ट्रीय रक्षा अकादमी, रक्षा सेवा स्टाफ कॉलेज और राष्ट्रीय रक्षा कॉलेज के पूर्व छात्र, वे एक योग्य उड़ान प्रशिक्षक और एक प्रायोगिक परीक्षण पायलट हैं, जिनके पास विभिन्न प्रकार के फिक्स्ड और रोटरी विंग विमानों पर 5,000 घंटे से अधिक उड़ान का अनुभव है।

यह वीडियो भी देखें-

Join Our WhatsApp Community
Get The Latest News!
Don’t miss our top stories and need-to-know news everyday in your inbox.