IIT दिल्ली के अरावली हॉस्टल में एमएससी के एक छात्र ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस को 22 अक्टूबर (मंगलवार) की रात करीब 11 बजे एक एमएससी छात्र की आत्महत्या की खबर मिली। पुलिस को जैसे ही पीसीआर कॉल मिली, उसके बाद आईओ एएसआई विजय और अन्य स्टाफ मौके पर पहुंचे।
मृतक की पहचान कुमार यश बताया जा रहा है, जिसकी उम्र 21 साल बताई जा रही है। यश झारखंड के देवघर का निवासी था। वह एमएससी के दूसरे वर्ष का छात्र था। प्रारंभिक जांच में पता चला कि कुमार यश मनोरोग से पीड़ित था और आईआईटी अस्पताल में इलाज करा रहा था। 22 अक्टूबर को ही वह इलाज के लिए गया था और 29 अक्टूबर को मनोचिकित्सक से मिलने का अपॉइंटमेंट भी लिया था।
परिजनों को दी गई सूचना
जांच के दौरान पता चला कि कमरा अंदर से बंद था, लेकिन उसके दोस्त और आईआईटी स्टाफ ने कमरे में प्रवेश करने के लिए दरवाजे की खिड़की तोड़ दी। मृतक यश कमरे में पड़ा हुआ था, उसके दोस्त और आईआईटी स्टाफ उसे अस्पताल ले गए, जहां ड्यूटी पर मौजूद डॉक्टरों ने उसे मृत्यु घोषित कर दिया। उसके शव को मोर्चरी में सुरक्षित रखवा दिया गया है। साथ ही मृतक के परिवारों वालों को सूचित कर दिया गया है और मौके पर मोबाइल क्राइम टीम ने हॉस्टल रूम की जांच की है जहां मृतक ने आत्महत्या की थी।
सुसाइड नोट नहीं मिला
दक्षिण पश्चिमी जिले के डीसीपी सुरेंद्र चौधरी के अनुसार पुलिस को घटनास्थल से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। मृतक छात्र के मेडिकल रिपोर्ट कार्ड के अनुसार वह मनोरोग चिकित्सा के उपचार के लिए आईआईटी अस्पताल गया था जहां उसका उपचार किया जा रहा था। फिलहाल पुलिस पूरे मामले की हर एंगल से जांच कर रही है।
आईआईटी प्रशासन ने जताया शोक
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी), दिल्ली ने बुधवार को कहा कि एमएससी द्वितीय वर्ष के छात्र की दुर्भाग्यपूर्ण और असामयिक मृत्यु से संस्थान को गहरा दुख हुआ है। संस्थान ने छात्र के परिवार और मित्रों के प्रति संवेदना व्यक्त की है।
आईआईटी ने जारी किया बयान
आईआईटी ने एक बयान जारी कर कहा कि मानविकी एवं सामाजिक विज्ञान विभाग के एमएससी संज्ञानात्मक विज्ञान के द्वितीय वर्ष के छात्र की दुर्भाग्यपूर्ण और असामयिक मृत्यु से संस्थान को गहरा दुख हुआ है।
बयान के अनुसार, दिल्ली पुलिस 22 अक्टूबर को परिसर में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना की जांच कर रही है। संस्थान इस दुख की घड़ी में उनके परिवार का समर्थन करने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है। आईआईटी दिल्ली अपने छात्रों की मानसिक और शारीरिक भलाई सुनिश्चित करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
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