Mahadev App case: प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) (ईडी) ने महादेव ऑनलाइन सट्टेबाजी मामले (Mahadev online betting case) में मनी लॉन्ड्रिंग की जांच (money laundering investigation) के तहत कोलकाता (Kolkata) के ब्रोकर गोविंद कुमार केडिया (broker Govind Kumar Kedia) को गिरफ्तार किया है। केंद्रीय एजेंसी ने 12 दिसंबर (गुरुवार) को बयान जारी कर इस बारे में जानकारी दी है। इसमें बताया गया है कि यह इस मामले में ईडी की 12वीं गिरफ्तारी है। एजेंसी ने बताया कि केडिया को छह दिसंबर को गिरफ्तार किया गया।
ईडी के अनुसार, केडिया कोलकाता में सब-ब्रोकर के रूप में काम करता है और उसने महादेव ऐप के प्रमोटर्स और अन्य आरोपितों की मदद की। वह अपराध की आय से जुड़े निवेशों को बढ़ाने, उन्हें छिपाने और उससे मुनाफा कमाने के लिए जानबूझकर शामिल था।
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197 करोड़ रुपये के शेयर बाजार
ईडी ने केडिया और उससे जुड़े लोगों के ठिकानों पर छापेमारी कर 197 करोड़ रुपये के शेयर बाजार में किए गए निवेश को फ्रीज किया। ये निवेश केडिया, उसके परिवार के सदस्यों और संबंधित संस्थाओं के नाम पर किए गए थे। राजनीतिक और नौकरशाही संबंधों का खुलासाईडी ने इससे पहले अपनी जांच में बताया था कि महादेव ऑनलाइन बेटिंग ऐप में छत्तीसगढ़ के कई उच्च पदस्थ राजनेताओं और नौकरशाहों की संलिप्तता पाई गई है। महादेव एप के मुख्य प्रमोटर सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल छत्तीसगढ़ के ही रहने वाले हैं।
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2295.61 करोड़ रुपये की संपत्तियां कुर्क
महादेव ऑनलाइन बेटिंग ऐप एक सिंडिकेट है, जो अवैध सट्टेबाजी के लिए ऑनलाइन प्लेटफॉर्म मुहैया कराता है। यह नए उपयोगकर्ताओं को जोड़ने, आईडी बनाने और मनी लॉन्ड्रिंग के लिए बेनामी बैंक खातों के जाल का इस्तेमाल करता है। ईडी ने अब तक इस मामले में 11 लोगों को गिरफ्तार किया है और कुल 4 आरोप पत्र दाखिल किए हैं। एजेंसी ने 2295.61 करोड़ रुपये की संपत्तियां कुर्क, फ्रीज या जब्त की हैं।
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