सौ खोखे नॉट ओके, अब भी जेल में रहेंगे देशमुख

सौ करोड़ की वसूली मामले में 21 दिसंबर को  सीबीआई की मांग को बॉम्बे उच्च न्यायालय ने मान लिया। इसी के साथ देशमुख की जमानत एक बार फिर अधर में लटक गई है।

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महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख को राहत नहीं मिली है। उनकी रिहाई एक बार फिर अधर में लटक गई है। मामले की अगली सुनवाई 27 दिसंबर को होगी। तब तक देशमुख जेल में रहेंगे।

 सौ करोड़ की वसूली मामले में 21 दिसंबर को  सीबीआई की मांग को बॉम्बे उच्च न्यायालय ने मान लिया। न्यायालय ने सीबीआई से ये भी कहा है कि अब आगे आपकी कोई भी याचिका स्वीकार नहीं की जाएगी। इसी के साथ मामले की अगली सुनवाई 27 दिसंबर को होगी।

सीबीआई ने याचिका दायर की थी यह मांग
बता दें कि सीबीआई ने पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख की जमानत पर तीन जनवरी तक रोक लगाने के लिए उच्च न्यायालय का रुख किया था। 21 दिसंबर को हुई सुनवाई में कोर्ट ने देशमुख को राहत नहीं दी। उच्च न्यायालय ने देशमुख की जमानत पर रोक बढ़ा दी है। मामले की अगली सुनवाई 27 दिसंबर को होगी।

मुंबई उच्च न्यायालय ने जमानत पर रोक के साथ ही सीबीआई से कही ये बात
सीबीआई ने हाई कोर्ट से अनिल देशमुख की जमानत पर लगी रोक को तीन जनवरी तक बढ़ाने का अनुरोध किया था। लेकिन कोर्ट ने 27 दिसंबर तक जमानत पर रोक लगा दी है। साथ ही, न्यायालय ने सीबीआई से कहा कि वह आगे किसी भी अनुरोध पर विचार नहीं करेगी। इसलिए अनिल देशमुख की जेल में रहने की अवधि बढ़ गई है। अब हाई कोर्ट के फैसले पर 27 दिसंबर को होगी।

12 दिसंबर को उच्च न्यायालय से मिली थी राहत
महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख को 12 दिसंबर को बॉम्बे हाई कोर्ट से बड़ी राहत मिली थीी। उन्हें एक लाख रुपए के मुचकले पर जमानत मिल गई थी, लेकिन वे जेल में ही थे। बाद में कोर्ट ने देशमुख की जमानत 10 दिन के लिए स्थगित कर दी थी। इसके बाद अब पूर्व गृह मंत्री को 10 दिन तक और जेल ही थे। सीबीआई ने इस जमानत के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी। अनिल देशमुख के खिलाफ यह मामला भ्रष्टाचार और पद के दुरुपयोग से संबंधित है, जिसकी जांच सीबीआई कर रही है। न्यायमूर्ति मकरंद एस कार्णिक ने पिछले सप्ताह दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया था।

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