महिला पहलवानों (Women Wrestlers) के कथित यौन उत्पीड़न (Alleged Sexual Harassment) के मामले में आरोपी भाजपा नेता बृजभूषण शरण सिंह (Brij Bhushan Sharan Singh) को दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) से बड़ा झटका लगा है। बृजभूषण ने अपने खिलाफ दर्ज एफआईआर, चार्जशीट और निचली अदालत द्वारा आरोप तय करने के आदेश को रद्द करने की मांग करते हुए याचिका दायर (Petition Filed) की थी। हालांकि, फिलहाल उन्हें दिल्ली हाई कोर्ट से कोई राहत नहीं मिली है।
दिल्ली हाई कोर्ट ने बृजभूषण शरण सिंह के वकील को मामले में कोर्ट में संक्षिप्त नोट पेश करने को कहा है। याचिका पर सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस ने बृजभूषण की याचिका की स्थिरता पर सवाल उठाए। मामले की अगली सुनवाई 26 सितंबर को दिल्ली हाई कोर्ट में होगी। दिल्ली हाई कोर्ट ने बृजभूषण शरण से पूछा कि मामले में आरोप तय होने के बाद आप कोर्ट क्यों आए। यह कहते हुए उनकी याचिका खारिज कर दी गई।
यह भी पढ़ें – Uttar Pradesh: मैनपुरी में भरभरा कर ढहा दो मंजिला मकान, 3 की मौत; मचा हड़कंप
हर चीज पर एक सर्वव्यापी आदेश नहीं हो सकता: कोर्ट
बार एंड बेंच की रिपोर्ट के अनुसार, याचिका पर न्यायमूर्ति नीना बंसल कृष्णा ने गुरुवार (29 अगस्त) को बृजभूषण सिंह से पूछा कि उन्होंने अपने खिलाफ आरोप तय करने के आदेश और कार्यवाही को चुनौती देने के लिए एक ही याचिका क्यों दायर की है? न्यायाधीश ने कहा, “हर चीज पर एक सर्वव्यापी आदेश नहीं हो सकता। यदि आप आरोपों पर आदेश को रद्द करना चाहते थे, तो आप आ सकते थे। एक बार मुकदमा शुरू हो जाने के बाद, यह एक अप्रत्यक्ष तरीका है।”
26 सितंबर को अगली सुनवाई
अदालत ने बृजभूषण सिंह से पूछा कि उन्होंने कार्यवाही के साथ-साथ अपने खिलाफ आरोप तय करने के आदेश को चुनौती देने के लिए एक ही याचिका क्यों दायर की है। हालांकि, अदालत ने पूर्व भाजपा सांसद के वकील को दो सप्ताह में एक संक्षिप्त नोट तैयार करने को कहा। मामले में अगली सुनवाई 26 सितंबर को होगी।
देखें यह वीडियो –
Join Our WhatsApp Community