सर्वोच्च न्यायालय ने गंभीर आरोप वाले नेताओं को जमानत नहीं देने व उन जैसे नेताओं को दी गई जमानत रद्द करने का निर्देश देने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया है। चीफ जस्टिस यूयू ललित की अध्यक्षता वाली बेंच ने ये आदेश दिया।
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने याचिकाकर्ता से कहा कि आप सभी राजनेताओं को जमानत नहीं दिए जाने और उनको मिली जमानत रद्द करने की मांग कर रहे हैं, ऐसा संभव नहीं हो सकता। चीफ जस्टिस ने याचिकाकर्ता से कहा कि आप अपनी याचिका वापस लें या हम इसे खारिज कर देंगे। इस पर याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका वापस ले ली।
याचिका में है क्या?
दरअसल, याचिका में कहा गया था कि कई ऐसे राजनेता हैं जो गंभीर अपराधों के आरोपित हैं या तो उनके ऊपर मुकदमा शुरू नहीं हुआ है या 5 साल से ज्यादा का समय बीत जाने के बाद भी मुकदमे समाप्त नहीं हुए हैं। ऐसे नेता जमानत पर चल रहे हैं। जघन्य आपराधिक मामलों में आरोपों का सामना कर रहे राजनेताओं को किसी भी अदालत से जमानत न दिए जाने या फिर जिन्हें जमानत दी गई है, उनकी जमानत रद्द किए जाने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई थी।